Microsoft Layoff: ग्लोबल आईटी दिग्गज माइक्रोसॉफ्ट के भारतीय मूल के सीईओ सत्या नाडेला के अभी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मिले हफ्ते भर भी नहीं बीते है. प्रधानमंत्री से मिलने के बाद सत्या नाडेला ने रूरल इंडिया के पांच लाख लोगों को आर्टीफिशियल इंटेलीजेंस में ट्रेंड करने की घोषणा की. नए साल पर माइक्रोसॉफ्ट के इस तोहफे ने भारतीयों को खुशी से भर दिया. इसी बीच माइक्रोसॉफ्ट से एक बुरी खबर आ रही है. इस कंपनी ने बड़ी छंटनी का एलान किया है.
परफॉर्मेंस को आधार बनाकर की जा रही छंटनी
माइक्रोसॉफ्ट ने अपनी कंपनी के एक फीसदी स्टाफ को नौकरी से निकालने का एलान किया है. कंपनी के दुनिया भर में दो लाख 28 हजार कर्मचारी हैं. इस तरह ग्लोबल वर्कफोर्स से 2280 या लगभग 2300 कर्मचारी हटाए जाएंगे. कंपनी ने अंडरपरफॉर्मर स्टाफ के साथ ऐसा करने का फैसला लिया है. इनमें सिक्योरिटी समेत और भी कई विभागों के स्टाफ शामिल हैं. माइक्रोसॉफ्ट के स्पोक्सपर्सन ने सीएनबीसी को बताया कि हम हाई टैलेंट पर फोकस कर रहे हैं. कंपनी अपने कर्मचारियों को सीखने और आगे बढ़ने में मदद करती है. इसके बावजूद जो लोग परफॉर्म नहीं करते हैं, उनके खिलाफ कार्रवाई की जाती है. यह कंपनी के ग्लोबल टैलेंट परफॉर्मेंस मैनेजमेंट की नई पहल का हिस्सा है.
महीनों लगाकर तैयार की परफॉर्मेंस रिपोर्ट
स्टाफ के छंटनी प्लान तैयार करने से पहले मैनेजरों ने महीनों लगाकर परफॉर्मेंस रिपोर्ट तैयार की है. उसी के आधार पर आगे एक्शन लिया जाना है. जो भी कर्मचारी हटाए जाएंगे, उनसे खाली हुई जगह को नई नियुक्ति कर भरी जाएगी. माइक्रोसॉफ्ट का ग्लोबल वर्कफोर्स स्टेबल बना रहेगा. यह कोई पहली बार नहीं है, जब माइक्रोसॉफ्ट स्टाफ की छंटनी करने जा रहा है. 2023 में भी कंपनी ने 10 हजार स्टाफ निकाले थे. इसके अलावा अपने गेमिंग जोन xbox में भी मामूली छंटनी की थी. दूसरी आईटी कंपनियों में भी 2023 से ही छंटनी का दौर चल रहा है.
ये भी पढ़ें: