Minimum Pension Hike: रिटायर्ड कर्मचारी पेंशन बढ़ोतरी की अपनी मांग को लेकर सरकार को घेरने की तैयारी में है. कर्मचारी पेंशन योजना, 1995 (EPS-95) के तहत आने वाले पेंशनधारक न्यूनतम मंथली पेंशन को बढ़ाकर 7,500 रुपये करने के साथ अपनी दूसरी मांगों के समर्थन में 31 जुलाई, 2024 को विरोध प्रदर्शन करने जा रहे हैं. पेंशनधारकों के मुताबिक रिटायर्ड पेंशनधारकों को कर्मचारी पेंशन योजना, 1995 के तहत इतना कम पेंशन मिल रहा है कि उनके और उनके परिवार का गुजारा करना भी मुश्किल है. 


ईपीएस-95 के राष्ट्रीय संघर्ष समिति के अध्यक्ष कमांडर अशोक राऊत ने कहा, लंबे समय तक नियमित पेंशन निधि में योगदान करने के बावजूद पेंशनधारकों को इतनी कम पेंशन मिल रही है जिससे उनकी मुश्किलें बढ़ती जा रही है. उन्होंने कहा, पिछले आठ साल से देशभर के 78 लाख पेंशधारक न्यूनतम पेंशन बढ़ाने की मांग कर रहे हैं, लेकिन सरकार ने अबतक उनकी मांगों पर कोई तवज्जो नहीं दी है. उन्होंने बताया कि मौजूदा समय में पेंशनधारकों को औसतन केवल 1,450 रुपये ही मंथली पेंशन मिल रहा है. पेंशनधारक महंगाई भत्ते के साथ मूल पेंशन को हर महीने 7,500 रुपये करने और पेंशनभोगियों के जीवनसाथी (पति या पत्नी) को मुफ्त स्वास्थ्य सुविधाएं देने समेत दूसरी मांगें कर रहे हैं. 


राष्ट्रीय संघर्ष समिति के अध्यक्ष ने बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से दो बार और वित्त मंत्री तथा श्रम मंत्री से भी बातचीत के बावजूद अभी तक कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई है जिससे पेंशनधारक निराश हैं. उन्होंने कहा, अब हम उन राजनीतिक दलों को समर्थन देंगे, जो हमारी समस्याओं को सुलझाने के लिए आगे आएंगे. उन्होंने कहा मांगे पूरी होने तक संघर्ष जारी रहेगा. 


ईपीएस-95 के तहत आने वाले कर्मचारियों के बेसिक पे का 12 फीसदी हिस्सा भविष्य निधि में जाता है. वहीं नियोक्ता के 12 फीसदी हिस्से में से 8.33 फीसदी ईपीएस-95 में जाता है. और इसके अलावा पेंशन कोष में सरकार भी अपनी तरफ से 1.16 फीसदी का योगदान करती है. मौजूदा समय में पेंशन सितंबर, 2014 में लागू नियमों के मुताबिक दी जा रही है. ईपीएफओ के डेटा के मुताबिक देशभर में करीब 78 लाख पेंशनभोगी हैं. 


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