नई दिल्ली: देश में इनकम टैक्स का दायरा बढ़ाने की मोदी सरकार की कोशिश अब रंग लाने लगी है. इनकम टैक्स विभाग के ताजा आंकड़ों से ये बात साबित हो रही है. विभाग ने जो आंकड़े जारी किए हैं इनकम टैक्स रिटर्न भरने वालों की संख्या 65 फीसदी बढ़कर 5.44 करोड़ हो गई है.


करोड़पति लोगों की संख्या बढ़ी
आंकड़ों के मुताबिक, निर्धारण वर्ष (Assessment Year) 2014 - 15 में जहां 48,416 लोगों ने एक करोड़ या उससे ज्यादा की आय घोषित की थी. वहीं, 2017 - 18 आते आते ये संख्या 81,344 पहुंच गई है. ये बढ़ोत्तरी करीब 68 फीसदी है. हालांकि, अगर इनमें कंपनी और फर्मों को भी मिला दें तो ये संख्या 1,40,139 हो जाती है और बढ़ोत्तरी 60 फीसदी. वैसे देश में एक धारणा ये बनी है कि नोटबंदी और जीएसटी ने लोगों की आमदनी पर चोट किया है और उद्योग धंधों को भी नुकसान पहुंचा है.


रिटर्न फाइल करने वालों में बड़ा इज़ाफा
मोदी सरकार ने लगातार इस बात की कोशिश की है कि न सिर्फ इनकम टैक्स भरने वालों का दायरा बढ़ाया जाए बल्कि रिटर्न भरने वालों की संख्या भी बढ़े. सरकार का प्रयास सफल दिखाई दे रहा है क्योंकि वित्तीय वर्ष 2017 - 18 ( 1 अप्रैल 2017 से 31 मार्च 2018 तक ) में 6.85 करोड़ रिटर्न फाइल किया गया है जबकि 2014 - 15 में 3.79 करोड़ रिटर्न फाइल किया गया था. यानि चार सालों में 80 फीसदी का इज़ाफा. इसी दौरान रिटर्न फाइल करने वाले लोगों की संख्या में 65 फीसदी का इजाफा हुआ है और ये 3.31 करोड़ से बढ़कर 5.44 करोड़ हो गया है. पिछले साल के मुकाबले चालू कारोबारी साल (2018 - 19) में 20 अक्टूबर तक रिटर्न की संख्या में 61 फीसदी की बढ़ोतरी हुई है.


जीडीपी में प्रत्यक्ष कर का योगदान भी बढ़ा
इसी तरह जीडीपी में प्रत्यक्ष कर जैसे इनकम टैक्स का योगदान भी पिछले तीन सालों में लगातार बढ़ता जा रहा है. 2017 -18 में जीडीपी में प्रत्यक्ष कर का योगदान 5.98 फीसदी रहा है जो 10 साल में सबसे ज्यादा है. अपनी मुहिम के तहत इनकम टैक्स विभाग ने करदाताओं को कुल 1 करोड़ 80 लाख एसएमएस और ईमेल भी भेजे.