बीमारियां लोगों को सिर्फ शारीरिक नुकसान नहीं पहुंचाती हैं, बल्कि आर्थिक रूप से भी उन्हें तोड़कर रख देती है. इलाज के लगातार बढ़ते खर्च ने बीमारियों को आर्थिक मुद्दा बना दिया है. एक बार बीमार पड़े और उसके इलाज में आपकी सालों की बचत स्वाहा हो गई. जीरोधा के नितिन कामथ ने भी अब इस संवेदनशील मुद्दे को उठाया है.


बैंकरप्ट कर देगा अस्पताल में भर्ती होना


जीरोधा के को-फाउंडर एवं सीईओ नितिन कामथ ने इस बारे में हाल में सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर एक पोस्ट अपडेट किया. उस पोस्ट में कामथ बता रहे हैं कि यह कितना बड़ा मुद्दा बन गया है. उन्होंने लिखा- ज्यादातर भारतीय बैंकरप्ट होने से सिर्फ एक हॉस्पिटलाइजेशन भर की दूरी पर हैं. मतलब भारत के ज्यादातर लोग किसी कारण अस्पताल में भर्ती होने की नौबत आने पर दिवालिया हो सकते हैं.


कामथ बीमारियों और इलाज की आर्थिक लिहाज से गंभीरता बताते हुए कहते हैं कि आज के समय में हर किसी के लिए अच्छा हेल्थ इंश्योरेंस प्लान जरूरी है. उन्होंने पोस्ट के साथ में यह भी बताया है कि हेल्थ इंश्योरेंस प्लान को कैसे चुना जाना चाहिए. इसके लिए उन्होंने 3 स्टेप बताकर लोगों को गाइड किया है.


कंपनी के ट्रैक रिकॉर्ड को परखना सबसे जरूरी


बकौल जीरोधा को-फाउंडर, हेल्थ इंश्योरेंस चुनते समय सबसे पहले बीमा कंपनी को चुनने की जरूरत पड़ती है. इसके लिए कंपनी के ट्रैक रिकॉर्ड और उसके नेटवर्क के हॉस्पिटल्स के बारे में जानना जरूरी है. ट्रैक रिकॉर्ड के लिए बीमा कंपनी के सीएसआर (क्लेम सेटलमेंट रेशियो) और आईसीआर (इनक्योर्ड क्लेम रेशियो) को देख सकते हैं.


जरूर होने चाहिए ये सारे फीचर


दूसरे स्टेप में कामथ हेल्थ इंश्योरेंस प्रोडक्ट में कुछ अनिवार्य फीचर के बारे में बताते हैं. उनके हिसाब से आप जो भी प्लान चुनें, उसमें को-पे, रूम रेंट रिस्ट्रिक्शन और बीमारियों के हिसाब से सब-लिमिट का नहीं होना जरूरी है. लो पीईडी वेटिंग पीरियड, प्री एंड पोस्ट हॉस्पिटलाइजेशन केयर, रिस्टोरेशन बेनेफिट और डेकेयर ट्रीटमेंट जैसे फीचर इंश्योरेंस में जरूर होने चाहिए.


 






अगर ये फीचर मिलें तो सोने पर सुहागा


कामथ कहते हैं कि अगर आपके हेल्थ इंश्योरेंस के साथ कुछ अन्य फीचर ऑफर किए जा रहे हों तो फायदे और बढ़ जाते हैं. कामथ के द्वारा बताए गए ऐसे गुड-टू-हैव फीचर्स में डोमिसिलरी कवर(एट-होम एडमिशन), फ्री एनुअल हेल्थ चेकअप, अल्टरनेटिव ट्रीटमेंट कवर (आर्युवेद, योग, नेचुरोपैथी, यूनानी, सिद्ध, होम्योपैथी) और लॉयल्टी बोनस व वेलनेस डिस्काउंट शामिल हैं.


ये भी पढ़ें: शेयर बाजार के निवेशकों को झटका, अब जीरोधा पर नहीं मिलेगी ब्रोकरेज चार्ज से छूट