Tata Trusts Chairman: नोएल टाटा (Noel Tata) को टाटा ट्रस्ट्स (Tata Trusts) का नया चेयरमैन बनाया जा सकता है. इस रेस में वे सबसे आगे चल रहे हैं. हालांकि टाटा ट्रस्ट के चेयरमैन पद की दौड़ में मेहली मिस्त्री (Mehli Mistry) भी शामिल हैं जो दिवंगत रतन टाटा (Ratan Tata) के बेहद खास और सबसे करीबियों में शामिल थे. टाटा ट्रस्ट का जो चेयरमैन बनेगा वो ही टाटा साम्राज्य का मुखिया होगा. आज मुंबई में टाटा ट्रस्ट की इसे लेकर महत्वपूर्ण बैठक होने वाली है.
किसे मिलेगी टाटा की समान?
नोएल टाटा अगर टाटा ट्रस्ट के चेयरमैन बनते हैं तो इस बात की संभावना है कि मेहली मिस्त्री को टाटा ट्रस्ट्स का स्थाई ट्रस्टी बनाया जा सकता है. मेहली मिस्त्री मेहर पलोनजी ग्रुप (Meher Pallonji Group) के डायरेक्टर हैं और उस एग्जीक्यूटिव कमिटी के सदस्य हैं जो टाटा ट्रस्ट्स के कामकाज को देखती है. हाल के वर्षों में टाटा ट्रस्ट के कामकाज में नोएल टाटा की भूमिका बढ़ गई थी. वे फिलहाल सर रतन टाटा ट्रस्ट और सर दोराबजी टाटा ट्रस्ट के ट्रस्टी हैं जो टाटा ट्रस्ट्स के अंदर आता है. ये ट्रस्ट टाटा समूह की परोपकार से जुड़ी गतिविधियों को तो मैनेज करती ही है पर साथ में टाटा संस जो टाटा ग्रुप की पैरेंट कंपनी है उसमें भी टाटा ट्रस्ट की मैजोरिटी होल्डिंग है.
कौन हैं नोएल टाटा?
नोएल टाटा रतन टाटा के सौतेले भाई हैं जो पिछले 40 सालों से टाटा ग्रुप के साथ जुड़े हुए हैं. फिलहाल वे अलग-अलग टाटा ग्रुप की कंपनियों के बोर्ड में शामिल हैं. साथ ही वे टाटा समूह की रिटेल कंपनी ट्रेंट, टाटा इंटरनेशनल लिमिटेड, टाटा इंवेस्टमेंट कॉरपोरेशन के चैयरमैन हैं साथ ही टाटा स्टील और टाइटन के वाइस चैयरमैन हैं. उनके कार्यकाल में ट्रेंट की सफलता की शानदार सीढ़ी चढ़ी है.
मेहली मिस्त्री थे रतन टाटा के करीबी
मेहली मिस्त्री साल 2000 से ही रतन टाटा के बेहद करीबी रहे हैं और ट्रस्ट के कामकाज में उनकी भूमिका महत्वपूर्ण रही है. मेहली मिस्त्री टाटा संस के पूर्व चेयरमैन रहे सायरस मिस्त्री के चचेरे भाई हैं और जब सायरस मिस्त्री को टाटा संस के चेयरमैन पद से हटाने की कवायद चल रही थी तो मेहली मिस्त्री ने तब रतन टाटा का साथ दिया था. अक्टूबर 2022 में मेहली मिस्त्री को दो बड़े टाटा ट्रस्ट सर रतन टाटा ट्रस्ट (Sir Ratan Tata) और सर दोराबजी टाटा ट्रस्ट (Sir Dorabji Tata Trust) के बोर्ड में शामिल किया था. इन ट्रस्ट की टाटा संस में 52 फीसदी हिस्सेदारी है और सभी ट्रस्ट की 66 फीसदी हिस्सेदारी है.
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