Patanjali Foods Share: सस्ते में मिल रहा है बाबा रामदेव का शेयर, सिर्फ दो दिन ही वैलिड रहेगा ये ऑफर
Patanjali Foods OFS: बाबा रामदेव की कंपनी पतंजलि फूड्स के इस ऑफर फोर सेल में प्रमोटर्स अपनी हिस्सेदारी कम कर रहे हैं. इसमें जबरदस्त डिस्काउंट पर शेयर ऑफर किए जा रहे हैं...
अगर आप भी बाबा रामदेव की कंपनी पतंजलि फूड्स का शेयर खरीदना चाहते हैं, तो आपके लिए सुनहरा मौका है. बाबा रामदेव की इस कंपनी का शेयर भारी डिस्काउंट में मिल रहा है. कंपनी ने यह ऑफर बस दो दिनों के लिए पेश किया है.
इस कारण पड़ी बेचने की जरूरत
दरअसल पतंजलि फूड्स नया ऑफर फोर सेल यानी ओएफएस लेकर आई है. इस ऑफर में प्रमोटर कंपनी पतंजलि आयुर्वेद लिमिटेड अपनी करीब 7 फीसदी हिस्सेदारी बेच रही है, जो पतंजलि फूड्स लिमिटेड के 2.53 करोड़ शेयर के बराबर है. पतंजलि फूड्स को शेयर बाजार में लिस्टेड होने के बाद के नियमों का पालन करने के लिए प्रवर्तकों की हिस्सेदारी कम करने की जरूरत पड़ी है.
इतने डिस्काउंट पर मिल रहे शेयर
पतंजलि फूड्स खाद्य तेल और अन्य खाद्य उत्पाद बनाती है. उसकी गिनती अभी भारत की अग्रणी एफएमसीजी कंपनियों में की जाती है. कंपनी ने इस ओएफएस के लिए न्यूनतम कीमत 1,000 रुपये प्रति शेयर तय की है. जबकि बीएसई पर बुधवार को पतंजलि फूड्स का शेयर मामूली बढ़त के साथ 1,228.05 रुपये पर बंद हुआ था. इस तरह देखें तो बाबा रामदेव की कंपनी का शेयर 18.36 फीसदी के डिस्काउंट में मिल रहा है.
बेचे जा सकते हैं अतिरिक्त शेयर
पंतजलि फूड्स के अनुसार, यह ऑफर बस दो दिनों के लिए है. कंपनी का ओएफएस 13 जुलाई को खुलेगा और 14 जुलाई को बंद हो जाएगा. पतंजलि फूड्स इस ऑफर से कम से कम 2,530 करोड़ रुपये जुटाना चाह रही है. पतंजलि फूड्स का कहना है कि ओएफएस में 2-2 रुपये अंकित मूल्य के 25,339,640 शेयरों की पेशकश होगी, और इसके साथ में 7,239,897 अतिरिक्त शेयर बेचने का भी प्रावधान होगा. अगर अतिरिक्त शेयर बेचे गए तो प्रमोटर्स की हिस्सेदारी 9 फीसदी कम हो जाएगी.
कंपनी का मौजूदा शेयरहोल्डिंग पैटर्न
अभी पतंजलि फूड्स का बाजार पूंजीकरण 44,454.78 करोड़ रुपये है. इसमें प्रमोटर कंपनी पतंजलि आयुर्वेद के पास 14,25,00,000 शेयर यानी 39.37 फीसदी हिस्सेदारी है. पंतजलि फूड्स में सभी प्रवर्तकों के पास मिलाकर 29,25,76,299 शेयर यानी 80.82 फीसदी हिस्सेदारी है. मौजूदा नियमों के अनुसार, किसी भी पब्लिकली लिस्टेड कंपनी में प्रवर्तकों की हिस्सेदारी 75 फीसदी से ज्यादा नहीं हो सकती है.
ये भी पढ़ें: नहीं काम आई शुरुआती तेजी, अडानी एंटरप्राइजेज-अडानी ग्रीन समेत लगभग सबको नुकसान