PLI Scheme: टेक्सटाइल पीएलआई स्कीम का बढ़ेगा दायरा, टी-शर्ट और इनरवियर पर भी मिलेगा लाभ
PLI Scheme for Textile: केंद्र सरकार टेक्सटाइल सेक्टर के लिए तैयार की गई पीएलआई योजना का दायरा बढ़ाना चाह रही है, क्योंकि अब तक निर्यात के मोर्चे पर फायदा नहीं हुआ है...
विनिर्माण बढ़ाकर निर्यात पर निर्भरता कम करने और देश को आत्मनिर्भर बनाने के लिए सरकार ने कई सेक्टर्स के लिए पीएलआई स्कीम की शुरुआत की है. टेक्सटाइल सेक्टर उनमें से एक है. अब ऐसी खबरें सामने आ रही हैं कि सरकार टेक्सटाइल पीएलआई स्कीम का दायरा बढ़ाने की तैयारी कर रही है.
अब टी-शर्ट और इनरवियर पर भी लाभ
मिंट की एक रिपोर्ट के अनुसार, टेक्सटाइल सेक्टर के लिए उत्पादन से जुड़ी प्रोत्साहन योजना यानी पीएलआई स्कीम (प्रोडक्शन लिंक्ड इन्सेंटिव स्कीम) का दायरा बढ़ाने की तैयारी चल रही है. रिपोर्ट में मामले से जुड़े दो लोगों के हवाले से कहा गया है कि अब सरकार इस योजना का लाभ टी-शर्ट और इनरवियर के मामले में दे सकती है.
मिल सकता है प्लांट लगाने के लिए और समय
इसके साथ ही टेक्सटाइल सेक्टर के लिए पीएलआई स्कीम में कुछ और बदलाव भी किए जा सकते हैं. रिपोर्ट के अनुसार, अब स्कीम के तहत कंपनियों को प्लांट लगाने के लिए 3 साल से ज्यादा का समय मिल सकता है. अभी कंपनियों को टेक्सटाइल सेक्टर की पीएलआई स्कीम का लाभ उठाने के लिए 2 साल के भीतर प्लांट लगाना पड़ता है. ज्यादा समय मिलने से ज्यादा कंपनियां योजना का लाभ उठाने के लिए प्रोत्साहित होंगी.
11 हजार करोड़ की पीएलआई स्कीम
केंद्र सरकार ने टेक्सटाइल सेक्टर को बढ़ावा देने के उद्देश्य से लगभग 11 हजार करोड़ रुपये की पीएलआई स्कीम तैयार की है. इस स्कीम को सरकार ने सितंबर 2021 में मंजूर कर दिया था. हालांकि अब तक इसका खास फायदा नहीं हुआ है. बीते कुछ सालों के दौरान भारत का टेक्सटाइल एक्सपोर्ट बढ़ने के बजाय कम ही हुआ है.
बढ़ने की जगह कम हुआ निर्यात
साल 2018 में भारत का टेक्सटाइल एक्सपोर्ट 16.24 बिलियन डॉलर का रहा था. वहीं पिछले साल यानी 2023 में भारत का टेक्सटाइल एक्सपोर्ट कम होकर 14.34 बिलियन डॉलर पर आ गया. यानी बीते 5 सालों में स्कीम आने के बाद भी देश के टेक्सटाइल एक्सपोर्ट में 11.69 फीसदी की कमी आई है. यही कारण है कि सरकार टेक्सटाइल पीएलआई स्कीम का दायरा बढ़ाकर उसमें टी-शर्ट और इनरवियर को शामिल करने जा रही है.
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