Reserve Bank Of India: बैंक में खाता रखने वालों के लिए जरूरी खबर है. रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया ने एक और बैंक का लाइसेंस कैंसिल कर दिया है. आरबीआई के इस कदम के बाद बैंक ग्राहकों का पैसा बैंक में अटक गया है. आरबीआई ने बताया है कि बैंक इस समय सभी डिपॉजिटर्स का पैसा वापस करने की स्थिति में नहीं है. 


6 हफ्तों का दिया समय
आपको बता दें महाराष्‍ट्र के पुणे स्थित रुपया को-ऑपेरेटिव बैंक (Rupee Co-operative Bank) का लाइसेंस भी अब कैंसिल हो गया है. बैंक को अब से 6 हफ्ते बाद यानी 22 सितंबर 2022 तक अपने कारोबार को बंद करना है. 


RBI ने दी जानकारी
रिजर्व बैंक ने बयान जारी कर कहा है कि अगर रुपया को-ऑपरेटिव बैंक को अपने बैंकिंग कारोबार में बढ़ने की अनुमति मिलती है तब भी वह सभी के पैसे वापस करने की स्थिति में नहीं है. आरबीआई ने कहा कि बैंक आज से छह सप्ताह के बाद बैंकिंग कारोबार करना बंद कर देगा. आरबीआई ने कहा कि बैंक को 'बैंकिंग' के कारोबार के संचालन से प्रतिबंधित किया जाएगा, जिसमें अन्य बातों के अलावा, जमा की स्वीकृति और जमा की चुकौती शामिल है.


जमा भी नहीं कर सकेगा अब से पैसा
आपको बता दें अब से बैंक न तो किसी भी तरह से ग्राहकों के पैसे जमा कर सकेगा और न ही उनका पैसा वापस कर सकेगा. इसके अलावा बैंक किसी भी तरह का लोन भी नहीं दे सकेगा. 


कमाई की नहीं है संभावना
रिजर्व बैंक ने कहा कि रुपया सहकारी बैंक का बैंकिंग लाइसेंस रद्द कर दिया गया क्योंकि बैंक के पास पर्याप्त पूंजी और कमाई की संभावनाएं नहीं हैं. यह बैंकिंग विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 56 के साथ धारा 11(1) और धारा 22 (3)(डी) के प्रावधानों का अनुपालन नहीं करता है. बैंक धारा 22(3) (ए), 22 (3) (बी), 22 (3) (सी), 22 (3) (डी) और 22 (3) (ई) का पालन करने में विफल रहा.


5 लाख रुपये ही मिल सकेंगे
आरबीआई की ओर से दी गई जानकारी के मुताबिक, ग्राहकों को अधिकतम 5 लाख रुपये ही वापस मिल सकेंगे. आरबीआई ने कहा कि बैंक के दिये डेटा के अनुसार 99 फीसदी से अधिक जमाकर्ता DICGC अपनी जमा राशि को पाने के हकदार हैं.


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