RBI ने दी बैंक कस्टमर्स को राहत, वीडियो बेस्ड कस्टमर आईडेंटिफिकेशन प्रोसेस के जरिए संभव हो सकेगा फ्रेश KYC!
RBI KYC Guidelines: आरबीआई को बैंकों के खिलाफ लगातार ये शिकायतें मिलती रही है कि डॉक्यूमेंट जमा कराने के बाद भी बैंक केवाईसी के लिए बार बार कस्टमर्स को परेशान करते हैं.
RBI On Re-KYC: बैंकिंग सेक्टर के रेग्युलेटर भारतीय रिजर्व बैंक ने केवाईसी (KYC) के नियमों को सरल कर दिया है. अब केवाईसी कराने के लिए बैंक के शाखा में जाने की जरुरत नहीं पड़ेगी. अब घर से या कहीं से भी वीडियो बेस्ड कस्टमर आईडेंटिफिकेशन प्रोसेस के जरिए फ्रेश केवाईसी (know-your-customer) प्रोसेस को पूरा किया जा सकेगा.
आरबीआई ने 5 जनवरी 2023 को एक प्रेस रिलिज जारी कर कहा है कि फ्रेश केवाईसी प्रोसेस कहीं भी बैठकर वीडियो-बेस्ड कस्टमर आईडेंटिफिकेशन प्रोसेस या फिर बैंक के शाखा में जाकर कराया जा सकता है. आरबीआई ने कहा है कि अगर केवाईसी में कोई बदलाव नहीं है तो कस्टमर केवल सेल्फ-डेक्लेयरेशन देकर री-केवाईसी के प्रोसेस को पूरा कर सकता है और ये काफी माना जाएगा. आरबीआई के मुताबिक बैंकों से कहा गया है कि ऐसी फैसिलिटी उपलब्ध कराए जिसमें नॉन फेस-टू-फेस चैनल के जरिए कस्टमर्स के सेल्फ-डेक्लेयरेशन के प्रोसेस को पूरा किया जा सके.
दरअसल बैंकों के खिलाफ आरबीआई को शिकायत मिल रही थी कि कई बार ऑनलाइन डॉक्यूमेंट जमा कराने के बावजूद डिजिटल री-केवाईसी का प्रोसेस बैंकों के वेबसाइट और मोबाइल एप के जरिए प्रोसेस नहीं हो पाता है. आरबीआई ने कहा है कि कस्टमर अपने रजिस्टर्ड ईमेल आईडी , मोबाइल नंबर, एटीएम, ऑनलाइन बैंकिंग या इंटरनेट बैंकिंग, मोबाइल एप या फिर पत्र के जरिए री-केवाईसी के प्रोसेस को पूरा कर सकता है. इसमें बैंक के शाखा में जाने की जरुरत नहीं है. अगर केवल पते में बदलाव होना है तो इन माध्यमों के जरिए एड्रेस प्रूफ जमा कराया जा सकता है और बैंक को दो महीने के भीतर वेरिफिकेशन प्रोसेस को पूरा करना होगा.
आरबीआई गर्वनर शक्तिकांत दास ( Shaktikanta das) ने बीते महीने कहा था कि बैंक खाताधारकों को अपने डिटेल्स को अपडेट करने के लिए बार बार बैंक ब्रांच के चक्कर लगाने की जरूरत नहीं है. उन्होंने कहा कि घर के पते में बदलाव को अपडेट करने के अलावा बैंक कस्टमर्स अब घर बैठे ऑनलाइन Re-KYC ( Know Your Customer) अपडेट कर सकेंगे. आरबीआई के केवाईसी नॉर्म्स गाइडलाइंस ( RBI KYC Norms Guidelines) के मुताबिक बैंकों को एक अवधि के बाद खाताधारतों के आईडेंटिफिकेशन डिटेल्स को अपडेट करना होता है.
मॉनिटरी पॉलिसी की घोषणा करने के बाद आरबीआई गवर्नर ने कहा था कि बैंक कस्टमर्स शाखा गए बिना फिर से अपना केवाईसी करा सकते हैं. आरबीआई गवर्नर ने कहा कि इसके बावजूद अगर बैंक कस्टमर्स को बैंक के शाखा में आकर केवाईसी कराने के लिए दबाव बनाते हैं तो कस्टमर्स उसी शिकायत दर्ज करा सकते हैं.
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