केंद्र सरकार ने 1 करोड़ घरों की छतों पर सोलर पैनल लगाने के लिए नई योजना की शुरुआत की है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बीते दिनों इस योजना का ऐलान किया था, जिसे प्रधानमंत्री सूर्योदय योजना नाम दिया गया है. बजट में इस योजना के लिए 10 हजार करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है.
लोगों को हो सकती है इतनी बचत
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 1 फरवरी को अंतरिम बजट पेश करते हुए रूफटॉप सोलर स्कीम के लिए 10 हजार करोड़ रुपये का प्रावधान किया. उन्होंने साथ में बताया कि इस योजना का लाभ उठाकर लोग अपनी छतों पर बिजली बना सकते हैं. छतों पर सोलर पैनल लगाने से लोगों को हर महीने 300 यूनिट तक फ्री बिजली मिल सकती है, जिससे उन्हें 15 हजार से 18 हजार रुपये तक की सालाना बचत हो सकती है.
अतिरिक्त बिजली बेचने की मिलेगी सुविधा
रूफटॉप सोलर स्कीम के तहत लोग अपनी छतों पर बनने वाली बिजली को अपने इस्तेमाल में तो ला ही सकते हैं, साथ ही जरूरत से ऊपर की अतिरिक्त बिजली को बेच भी सकते हैं. प्रधानमंत्री सूर्योदय योजना के तहत लोगों को एक्सेस इलेक्ट्रिसिटी बेचने की सहूलियत मिलने जा रही है. इस बिजली का इस्तेमाल इलेक्ट्रिक व्हीकल्स को चार्ज करने में भी किया जा सकता है. इस तरह लोगों को बिजली के बिल की बचत के साथ अतिरिक्त कमाई भी हो सकती है.
तेजी से बढ़ रहा है सौर ऊर्जा से उत्पादन
केंद्र सरकार अक्षय ऊर्जा के स्रोतों पर काफी जोर दे रही है. सरकार ने इसके तहत सौर ऊर्जा से 100 गीगावाट बिजली के उत्पादन का लक्ष्य रखा है. बीते सालों में सौर ऊर्जा से बिजली के उत्पादन में लगातार तेजी आई है. वित्त वर्ष 2019-20 में जहां सौर ऊर्जा से करीब 35 गीगावाट बिजली का उत्पादन हो रहा था, चालू वित्त वर्ष में यह उत्पादन 73 गीगावाट के पार निकल जाने का अनुमान है.
योजना से इतनी बिजली का अनुमान
पीएम सूर्योदय योजना के तहत 1 करोड़ घरों की छतों पर रूफटॉप सोलर पैनल लगाने से सरकार को 100 गीगावाट का लक्ष्य हासिल करने में भी मदद मिल सकती है. ईटी की एक रिपोर्ट में एक्सपर्ट के हवाले से बताया गया है कि 1 करोड़ छतों पर सोलर पैनल लगने से करीब 20-25 गीगावाट बिजली का उत्पादन हो सकता है. सरकार ने 2025-26 तक 40 गीगावाट रूफटॉप सोलर कैपेसिटी का टारगेट सेट किया है.
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