Indian Economy: S&P Global Ratings ने घटाया भारत के GDP का अनुमान, मार्च तक 35 बेसिस प्वाइंट बढ़ सकता है रेपो रेट!
S&P Global Ratings: एस एंड पी ग्लोबल रेटिंग की मानें तो ईएमआई और महंगी हो सकती है. उसने दावा किया है कि आरबीआई रेपो रेट को मौजूदा 5.90 फीसदी से बढ़ाकर 6.25 फीसदी कर सकता है.

Indian Economy: दो दिनों बाद 30 नवंबर, 2022 को 2022-23 की दूसरी तिमाही के लिए भारत के जीडीपी के आंकड़े (GDP Data) सांख्यिकी मंत्रालय घोषित करने वाला है. लेकिन उसके पहले ही रेटिंग एजेंसी एस एंड पी ग्लोबल रेटिंग्स (S&P Global Ratings) ने मौजूद वित्त वर्ष के लिए भारत के आर्थिक विकास दर ( Economic Growth Rate) के अनुमान को घटा दिया है. रेटिंग एजेंसी ने अपने पूर्व अनुमान में 30 बेसिस प्वाइंट की कटौती करते हुए 2022-23 के लिए जीडीपी के अनुमान को 7 फीसदी कर दिया है. जबकि एजेंसी ने कहा कि 2023-24 में भारत का आर्थिक विकास दर 6 फीसदी रह सकता है.
सितंबर महीने में एस एंड पी ग्लोबल रेटिंग ने 2022-23 में भारत के आर्थिक विकास दर के 7.3 फीसदी रहने का अनुमान जताया था. एशिया पैसेफिक के लिए रेटिंग एजेंसी के तिमाही इकॉनोमिक अपडेट के मुताबिक भारत, इंडोनेशिया और फिलीपींस में खपत में तेज उछाल के कारण विकास दर में तेजी आएगी. रिपोर्ट के मुताबिक कई देशों में कोविड के बाद मांग में मजबूत रिकवरी आना बाकी है जिसका भारत को फायदा मिलेगा.
एस एंड पी ग्लोबल रेटिंग के मुताबिक 2022-23 में महंगाई औसतन 6.8 फीसदी रहने का अनुमान है. साथ ही उसने दावा किया है कि आरबीआई रेपो रेट को मौजूदा 5.90 फीसदी से बढ़ाकर 6.25 फीसदी कर सकता है. अक्टूबर महीने में रिटेल के साथ थोक महंगाई में कमी देखने को मिली थी. खुदरा महंगाई दर 6.7 फीसदी रहा था तो थोक आधारित महंगाई दर घटकर 8.39 फीसदी पर आ गया है.
रेटिंग एजेंसी ने कहा कि एशियाई देशों के विदेशी मुद्रा भंडार में कमी आई है. उसने मार्च के आखिर तक एक्सचेंज रेट के 79.50 रुपये प्रति डॉलर रहने का अनुमान जताया है फिलहाल 81.77 रुपये प्रति डॉलर है. चीन को लेकर रेटिंग एजेंसी ने कहा कि आने वाले महीनों में चीन का ग्रोथ रेट कम रहेगा. और 2023 में कोविड के छूट मिलने के बाद और प्रॉपर्टी मार्केट में स्थिरता आने के बाद वहां की अर्थव्यवस्था में तेजी आएगी.
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