सहारा में हजारों करोड़ रुपये का निवेश फंसाए बैठे लाखों निवेशकों को अभी भी राहत नहीं मिल पा रही है, जबकि उनके फंसे निवेश के रिफंड के लिए ऑनलाइन पोर्टल शुरू हुए महीनों बीत चुके हैं. एक आरटीआई में सहारा रिफंड पोर्टल का ऐसा सच सामने आया है, जिसे जानकर आप पूरी तरह से हैरान रह जाएंगे.


सिर्फ इतने का ही हुआ भुगतान


मनी लाइफ की एक रिपोर्ट में आरटीआई के हवाले से बताया गया है कि सिर्फ 0.27 फीसदी दावे का ही पोर्टल के माध्यम से अब तक भुगतान हो पाया है. सेंट्रल रजिस्ट्रार ऑफ कॉपरेटिव सोसाइटीज यानी सीआरसीएस पोर्टल के जरिए सहारा के निवेशकों ने अब तक 82,695.51 करोड़ रुपये के दावे जमा किए हैं. उनमें से सिर्फ 228.77 करोड़ रुपये का ही भुगतान हो पाया है.


जुलाई में हुई थी पोर्टल शुरुआत


यह स्थिति तब है, जब सहारा रिफंड पोर्टल को शुरू हुए करीब 6 महीने होने वाले हैं. केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने सहारा के निवेशकों का पैसा लौटाने के लिए पिछले साल 18 जुलाई को सहारा रिफंड पोर्टल की शुरुआत की थी. पोर्टल के माध्यम से अभी सहारा की कॉपरेटिव सोसायटी- सहारा क्रेडिट कॉपरेटिव सोसायटी लिमिटेड, सहारयन यूनिवर्सल मल्टीपर्पस सोसायटी लिमिटेड, हमारा इंडिया क्रेडिट कॉपरेटिव सोसायटी लिमिटेड और स्टार्स मल्टीपर्पस कॉपरेटिव सोसायटी लिमिटेड- के निवेशक रिफंड के लिए क्लेम कर सकते हैं.


इतने निवेशकों ने किया पोर्टल पर रजिस्टर


रिपोर्ट के अनुसार, आरटीआई एक्टिविस्ट आकाश गोयल ने इस संबंध में सूचना पाने के लिए सूचना का अधिकार कानून के तहत जवाब मांगा था. आरटीआई में पूछे गए सवालों के जवाब में बताया गया कि सीआरसीएस पोर्टल यानी सहारा रिफंड पोर्टल पर अब तक 1,60,38,266 निवेशकों ने रजिस्ट्रेशन कराया है. रजिस्टर्ड निवेशकों ने अब तक रिफंड के कुल 3,41,15,418 दावे किए हैं. ये दावे टोटल 82,695.51 करोड़ रुपये के लिए थे, जिनमें से सिर्फ 228.77 करोड़ रुपये का भुगतान दावा करने वाले निवेशकों को किया गया है.


रिसबमिशन के इतने दावे का भुगतान


आरटीआई में मिली जानकारी के अनुसार, सीआरसीएस रिफंड पोर्टल के जरिए 52,113 दावे फिर से सबमिट किए गए हैं. इनकी टोटल वैल्यू 52.19 करोड़ रुपये है. इनमें से सिर्फ 3.13 करोड़ रुपये का भुगतान हो पाया है. यानी फिर से सबमिट किए गए दावों में करीब 6 फीसदी का भुगतान मिल पाया है.


सरकार ने दिया है ये भरोसा


बीते दिनों सहारा के सुब्रत रॉय के निधन के बाद सरकार ने निवेशकों को भरोसा दिलाया था कि सभी निवेशकों को उनकी एक-एक पाई लौटाई जाएगी. सरकार ने संसद में बताया था कि अभी छोटे-छोटे दावे निपटाए जा रहे हैं. जल्दी ही सरकार अतिरिक्त फंड रिलीज कराने के लिए सुप्रीम कोर्ट जाएगी.


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