अमेरिका जाने वाले छात्रों की संख्या में 38 फीसदी गिरावट, जानें क्या है वजह?
2024 के पहले 9 महीने में भारतीयों को जारी किए गए एफ-1 छात्र वीजा में 38 फीसदी की कमी देखी गई है. भारतीय छात्रों को जारी किए गए एफ-1 वीजा महामारी के बाद अपने सबसे निचले स्तर पर पहुंच गया है.
![अमेरिका जाने वाले छात्रों की संख्या में 38 फीसदी गिरावट, जानें क्या है वजह? 38 percent decline in the number of students going to America here know the reason अमेरिका जाने वाले छात्रों की संख्या में 38 फीसदी गिरावट, जानें क्या है वजह?](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/12/09/eb14b6230e8f349f8f95f8d2dac585eb1733730373386428_original.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=1200&height=675)
Indian Studenets In USA: अमेरिकी कॉलेज और संस्थानों में पढ़ाई करने वाले भारतीय छात्रों की तादाद में भारी गिरावट दर्ज की गई है. दरअसल यह गिरावट कोविड महामारी के बाद बढ़ी है. अमेरिकी विदेश विभाग की मानें तो पिछले साल के इन दिनों के मुकाबले 2024 के पहले 9 महीने में भारतीयों को जारी किए गए एफ-1 छात्र वीजा में 38 फीसदी की कमी देखी गई है. भारतीय छात्रों को जारी किए गए एफ-1 वीजा महामारी के बाद अपने सबसे निचले स्तर पर पहुंच गया है. अब सवाल है कि एफ-1 वीजा जारी करने में गिरावट के पीछे क्या-क्या कारण हैं?
इसके पीछे की बड़ी वजहें क्या-क्या हैं?
ऐसा माना जा रहा है कि छात्रों को होने वाली परेशानी के अलावा लंबे समय तक प्रतीक्षा करना, वीजा संबंधित छात्रों की चिंता जिम्मेदार है. रीचआईवी डॉट कॉम की सीईओ विभा कागजी कहती हैं कि अमेरिका अभी भी छात्रों की पसंदीदा जगह है, लेकिन ज्यादातर छात्र विकल्प खुले रखने के लिए कनाडा, यूके और जर्मनी जैसे देशों का रुख कर रहे हैं. हालांकि, आपको जानकर हैरानी होगी कि यह गिरावट महज भारतीय छात्रों तक सीमित नहीं है. भारत के अलावा अन्य देशों के छात्रों में गिरावट दर्ज की गई है.
ये भी पढ़ें-
डिप्टी सीएम बनने के बाद कितनी घट गई एकनाथ शिंदे की सैलरी? जान लें पूरी डिटेल
अन्य देशों के छात्रों में भी भारी गिरावट...
अमेरिका पहुंचने वाले चीन के छात्रों में भी बड़ी गिरावट देखी गई है. पिछले साल की तुलना में इस बार 8 फीसदी चाइनीज छात्र कम अमेरिका पहुंचे.
ये भी पढ़ें-
बताते चलें कि एफ-1 वीजा अमेरिका में शैक्षणिक संस्थानों में एडमिशन लेने वाले छात्रों के लिए एक गैर-अप्रवासी कैटेगरी है. जबकि एम-1 वीजा बिजनेस और गैर शैक्षणिक कार्यक्रमों को कवर करता है, लेकिन इस साल एफ-1 वीजा में भारी गिरावट दर्ज की गई है. यह गिरावट कोरोना महामारी के बाद अपने सबसे निचले स्तर पर पहुंच गया है.
ये भी पढ़ें-
बिरयानी का नाम सुनते ही मुंह में आ जाता है पानी, जानें किस राज्य में सबसे ज्यादा होता है चावल?
Education Loan Information:
Calculate Education Loan EMI
ट्रेंडिंग न्यूज
टॉप हेडलाइंस
![ABP Premium](https://cdn.abplive.com/imagebank/metaverse-mid.png)