नई दिल्ली: भारत में आर एंड डी के लिए 2,500 इंजीनियरों को नियुक्त करने की अपनी प्रतिबद्धता के अनुरूप सैमसंग इंडिया ने बुधवार को कहा कि वह आईआईटी और बिट्स पिलानी जैसे शीर्ष संस्थानों के 1,200 से अधिक इंजीनियरों को इस साल नौकरी देने के लिए तैयार कर रहे हैं. सैमसंग इंडिया का यह प्रयास इसलिए है ताकि एक मजबूत आर एंड डी पूल बनाया जा सके और घरेलू एवं वैश्विक दोनों बाजारों के लिए मेक इन इंडिया उत्पाद तैयार हो सके.
दक्षिण कोरियाई दिग्गज कंपनी ने पिछले साल आईआईटी, एनआईटी और आईआईआईटी सहित शीर्ष इंजीनियरिंग कॉलेजों से एक हजार इंजीनियरों को काम पर रखा था. इसके तहत आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई), इंटरनेट ऑफ थिंग्स (आईओटी), मशीन लर्निग (एमएल), बायोमेट्रिक्स, न्यूट्रल लैंग्वेज प्रोसेसिंग (एनएलपी), संवर्धित वास्तविकता (एआर) और 5-जी सहित नेटवर्क पर काम करने जैसे नए युग के डोमेन को जोर दिया जा रहा है.
सैमसंग इंडिया के देश में तीन आर एंड डी केंद्र हैं, जो बेंगलुरू, नोएडा और दिल्ली में स्थित है.
सैमसंग इंडिया के एचआर प्रमुख समीर वधावन ने बताया, "दिसंबर 2017 में हमने 2020 तक भारत में 2,500 इंजीनियरों को नियुक्त करने के लिए अपनी प्रतिबद्धता के बारे में बात की थी. हमने 2018 में एक हजार इंजीनियरों को काम पर रखा और 2019 में 1,200 से अधिक इंजीनियरों को भी काम पर लेने के लिए तैयार हैं. सैमसंग इंडिया अपनी इस प्रतिबद्धता को पूरा करने के लिए अच्छी तरह से ट्रैक पर है."
समीर वधावन ने कहा, "हमारे पास वर्तमान में कुल मिलाकर काम करने वाले 70,000 से अधिक लोग हैं और अगर हम आर एंड डी केंद्रों के बारे में विशेष रूप से बात करते हैं तो हमारे पास हमारे तीन केंद्रों में काम करने वाले 9,000 लोग हैं."
सैमसंग आर एंड डी की भर्ती सभी प्रमुख आईआईटी जैसे शीर्ष इंजीनियरिंग कॉलेजों में हो रही है, जिसमें नई खुली आईआईटी तिरुपति भी शामिल है. समीर ने कहा, "हम एनआईटी, बिट्स पिलानी, दिल्ली इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी, मणिपाल इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी और आईआईआईटी से भी भर्ती कर रहे हैं."सैमसंग के दक्षिण कोरिया मुख्यालय के बाहर भारत में आर एंड डी इंजीनियरों की सबसे बड़ी तादाद है.
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