Success Story Of IAS Topper Amol Srivastava:नोएडा के अमोल ने यूपीएससी परीक्षा पास करने से पहले मैकेनिकल इंजीनियरिंग में ग्रेजुएशन किया है. अमोल की स्कूलिंग नोएडा से ही हुई और इंजीनियरिंग की डिग्री लेने के बाद उन्होंने सिविल सर्विसेस में आने की योजना बनाई. अमोल को इस परीक्षा में सेलेक्ट होने में दो साल लग गए. पहले साल में भी अमोल पर्सनेलिटी टेस्ट राउंड तक पहुंच गए थे पर उनका सेलेक्शन नहीं हुआ. दूसरे अटेम्पट में अमोल का न केवल सेलेक्शन हुआ बल्कि वे टॉपर्स की लिस्ट में भी शामिल हुए. आज जानते हैं अमोल से कैसे पास की उन्होंने यह परीक्षा.


ग्रेजुएशन के अंतिम सालों में शुरू करें तैयारी –


अपनी तैयारी के विषय में बात करते हुए अमोल कहते हैं कि, अक्सर कैंडिडेट्स उनसे पूछते हैं कि इस परीक्षा की तैयारी शुरू करने के लिए सही समय क्या है. क्या क्लास 10 और 11 से ही तैयारी शुरू कर देनी चाहिए. इसके जवाब में अमोल कहते हैं कि आजकल यूपीएससी का नेचर इतना डायनमिक हो गया है कि इतना पहले से तैयारी शुरू करने का कोई मतलब नहीं. वे यह भी मानते हैं कि अगर डेडिकेटेड प्रिपरेशन की जाए तो एक साल इस परीक्षा की तैयारी के लिए काफी है. अमोल की दूसरी सलाह यह है कि ग्रेजुएशन के अंतिम वर्षों में परीक्षा की तैयारी शुरू की जा सकती है. इसमें भी आप सबसे पहले न्यूज पेपर पढ़ना शुरू कर सकते हैं. चूंकि यूपीएससी परीक्षा के लिए न्यूज पेपर बहुत अहमियत रखते हैं इसलिए इन्हीं से शुरुआत करें.


दूसरा सवाल उठता है बुक लिस्ट का. इस बारे में अमोल कहते हैं कि इस परीक्षा की तैयारी के लिए जो भी स्टैंडर्ड बुक्स हैं, वही तैयारी के लिए काफी हैं. ध्यान रहे कि एक विषय की बहुत सारी किताबें न कलेक्ट करें. हां कोई विषय अगर किसी किताब में अच्छा दिया हो तो उसे दूसरी किताब से पढ़ सकते हैं. टॉपर्स के ब्लॉग्स पर बुक्स की सूची मिल जाएगी.


एनसीईआरटीज का है जरूरी रोल –


अमोल यूपीएससी परीक्षा की तैयारी में एनसीईआरटी की किताबों को बहुत अहमियत देते हैं. वे कहते हैं इनसे आपका बेस मजबूत हो जाता है इसलिए विषय के अनुरूप इन्हें जरूर पढ़ें. क्लास दस या बारह की किताब में बाकी सालों के जरूरी मैटीरियल को नोट्स के रूप में लिख लें ताकि सारा जरूरी मैटर एक ही जगह पर इकट्ठा हो जाए. ठीक इसी प्रकार नोट्स भी बनाएं. अमोल कहते हैं नोट्स ऑनलाइन या ऑफलाइन कैसे भी बनाए जा सकते हैं, उन्होंने ऑफलाइन नोट्स बनाए थे. इससे उनकी लिखने की प्रैक्टिस भी होती थी. हालांकि नोट्स बनाते समय अमोल यह सलाह देते हैं कि उन्हें बहुत बड़ा न करें. नोट्स ऐसे होने चाहिए जिन्हें परीक्षा के एक या दो दिन पहले रिवाइज किया जा सके.


आंसर राइटिंग के पहले कर लें थोड़ी पढ़ाई –


सिविल सेवा परीक्षा में पास होने के लिए आंसर राइटिंग बहुत जरूरी है यह तो हम सभी जानते हैं पर इस बारे में अमोल एक सलाह और देते हैं कि पहले दो से तीन महीने या और ज्यादा थोड़ा पढ़ लें और कुछ ज्ञान इकट्ठा करने के बाद ही आंसर राइटिंग ट्राय करें. दरअसल आंसर राइटिंग ऐसी प्रक्रिया नहीं जो तुरंत शुरू कर दी जाए. अगर उत्तर आएगा ही नहीं तो लिखेंगे कैसे. दूसरी ध्यान देने वाली बात यह है कि जब आंसर राइटिंग शुरू करेंगे तो शुरू में एक आंसर लिखने में बहुत समय लगेगा पर इससे घबराएं नहीं, धीरे-धीरे आपकी आदत पड़ेगी. पहले-पहल आंसर लिखने में एक या डेढ़ घंटा भी लग जाए तो परेशान न हों.


प्री और मेन्स की तैयारी करें साथ –


अमोल सलाह देते हैं कि प्री और मेन्स की तैयारी एक साथ शुरू करें क्योंकि दोनों आपस में इंटीग्रेटड होती हैं. उसी टॉपिक पर जहां फैक्ट्स और फिगर्स प्री में पूछे जा सकते हैं, वहीं मेन्स में उसका दूसरा पहलू पूछा जा सकता है. हालांकि यहां इस बात का ध्यान रखें कि प्री परीक्षा आने के कुछ दिनों पहले केवल प्री की पढ़ाई शुरू कर दें. मॉक टेस्ट दें और उनके आंसर एनालाइज जरूर करें. देखें आप कहां गलती कर रहे हैं, इन्हें समय रहते दूर करें. अगला जरूरी स्टेप मानते हैं अमोल टाइम मैनेजमेंट का. वे कहते हैं उन्होंने महीने, हफ्ते और दिनों तक का टाइम-टेबल बना लिया था जिससे उनका बिलकुल समय न बर्बाद हो. अंत में अमोल यही कहते हैं कि सही प्लानिंग और स्ट्रेटजी के साथ तैयारी करें सफलता जरूर मिलेगी.


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