Success Story Of IAS Topper Pratham Kaushik: यूपीएससी सीएसई परीक्षा को लेकर प्रथम कौशिक के विचार काफी अलग हैं. जहां एक तरफ लोग यह कहते नहीं थकते कि ये दुनिया की सबसे कठिन परीक्षाओं में से एक है, वहीं प्रथम मानते हैं कि यह परीक्षा इतनी भी कठिन नहीं जितना इसके बारे में हवा फैलायी गई है. इसके कठिनाई स्तर को लेकर इतनी बातें कही गई हैं कि कैंडिडेट परीक्षा देने से पहले ही अपना कांफिडेंस लूज कर देता है. कुछ ऐसा ही हुआ था प्रथम के साथ भी पहले प्रयास के समय. उन्होंने आधी हार तो पहले ही मान ली थी क्योंकि उनके दिल में यह बैठ गया था कि इस परीक्षा को अच्छे-अच्छे नहीं पास कर पाते. उन्होंने इस डर को कैसे खत्म किया, ये और ऐसी बहुत सी बातें शेयर की प्रथम ने दिल्ली नॉलेज ट्रैक को दिए इंटरव्यू में.


सबसे पहले दिल से निकाला डर –


प्रथम कहते हैं कि उन्होंने कॉलेज के दिनों से ही इस परीक्षा की तैयारी शुरू कर दी थी. उनके बैच में कई और स्टूडेंट्स भी इस एग्जाम के लिए प्रिपेयर कर रहे थे पर सभी का एक सुर में यही कहना था कि यह एग्जाम बहुत कठिन है. प्रथम भी इसी लिस्ट में शामिल हो गए जो मानने लगे कि यह एग्जाम बहुत कठि है और साथ ही तैयारी भी कर रहे थे. नतीजा यह हुआ की प्रथम का डर जीता और वे बुरी तरह हारे. पहले प्रयास में वे प्री भी नहीं निकाल पाए. इस झटके से उबरने के लिए प्रथम ने कुछ समय लिया लेकिन वापसी करने के बाद सबसे पहले अपने मन से डर निकाला. वे कहते हैं कि डर के साथ जीत संभव नहीं. आपको खुद को यह समझाना होगा कि यह एग्जाम क्लियर करना इतना भी कठिन नहीं है और आप ऐसा कर सकते हैं. जब तक खुद पर विश्वास नहीं करेंगे तब तक सफलता नहीं मिलेगी.


यहां देखें प्रथम कौशिक द्वारा दिल्ली नॉलेज ट्रैक को दिया गया इंटरव्यू - 



इस स्ट्रेटजी से की तैयारी –


प्रथम कहते हैं एनसीईआरटी की किताबें इस एग्जाम को क्लियर करने में अहम भूमिका निभाती हैं. उन्होंने क्लास 6 से 12 तक की एनसीईआरटी की अधिकतम विषयों की किताबें पढ़ीं. वे यहां तक कहते हैं कि कभी यह ख्याल मन में न लाएं इस उम्र में यह क्या बच्चों की चीजें पढ़ रहे हैं. दरअसल यही आपका बेस मजबूत करती हैं. इसके बाद अगली जरूरी चीज है न्यूज पेपर पढ़ना जिसे आप समय के साथ सीखेंगे. दरअसल पहले पहले अखबार पढ़ने में बहुत समय लगता है और यह भी समझ नहीं आता कि क्या पढ़ना है और क्या छोड़ना है. लेकिन अभ्यास से आप यह भी सीख जाएंगे. जीएस और ऑप्शनल के पेपर को कुछ इस तरह टाइम-टेबल में बांटें की प्री के पहले ये दोनों तैयार हो जाएं. प्री के बाद मुख्य फोकस रिवीजन और आंसर राइटिंग प्रैक्टिस पर करें. जितने हो सके मॉक टेस्ट दें यह आपको परीक्षा के लिए तैयार करते हैं.


प्रथम की सलाह –  


प्रथम कहते हैं कि अगर किसी विषय में ज्यादा समस्या आए तो उसे शुरू से पढ़ें तभी उस पर कमांड बना पाएंगे. यूपीएससी में भी अगर कोई फेल होता है तो सीधे पहले पायदान पर पहुंच जाता है. सब्जेक्ट्स के साथ भी ऐसा ही है. अगर अच्छा स्कोर नहीं कर रहे तो परेशान न हों और एकदम जीरो से शुरुआत करें.


अंत में प्रथम का बस इतना ही कहना है कि कोई टेस्ट, कोई कोचिंग, कोई सोर्स, कोई गाइडेंस आपको सफलता नहीं दिला सकता. सफलता पाने का बस एक ही तरीका है और वह है सेल्फ बिलीफ. खुद पर विश्वास करें कि आप कर सकते हैं तभी कर पाएंगे. एक बार परीक्षा के डर पर काबू पा लिया तो सफलता हासिल करना मुश्किल नहीं.


IAS Success Story: पहले दो प्रयासों में प्री परीक्षा भी पास न कर पाने वाली गुंजन तीसरे प्रयास में बनीं टॉपर, कैसे पाई उन्होंने यह सफलता? पढ़ें  

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