जल्द खत्म होगा आप-कांग्रेस गठबंधन पर सस्पेंस, हरियाणा में अब सीटों पर चल रही है बात
आप-कांग्रेस गठबंधन को लेकर चल रही बातचीत के बीच दिल्ली कांग्रेस के प्रभारी पीसी चाको ने आज राहुल गांधी से मुलाकात की. आप-कांग्रेस के बीच हरियाणा और दिल्ली में गठबंधन को लेकर कई दौर की बातचीत हो चुकी है.
नई दिल्ली: आम आदमी पार्टी-कांग्रेस के गठबंधन पर सस्पेंस जल्द ही खत्म हो सकता है. दिल्ली के साथ-साथ हरियाणा में गठबंधन के लिए दोनों दलों के बीच कई दौर की बैठकें हुई. इस दौरान सीटों को लेकर गहन मंथन चला.
दिल्ली में तो 4-3 का फॉर्मूला तय है. लेकिन हरियाणा में सीटों को लेकर बात अब भी जारी है. कांग्रेस-आप गठबंधन में जननायक जनता पार्टी (जेजेपी) भी शामिल होगी. जेजेपी सोनीपत और कुरूक्षेत्र की दो सीट मांग रही है. कांग्रेस इसके लिए तैयार नहीं हुई. जिसके बाद जेजेपी ने सिरसा और कुरूक्षेत्र की सीट देने की मांग की. ओम प्रकाश चौटाला के परिवार में फूट के बाद दुष्यंत चौटाला पर इंडियन नेशनल लोकदल (इनेलो) से अलग होकर जेजेपी का गठन किया है.
कुरुक्षेत्र की सीट देने के लिए कांग्रेस राजी है. सोनीपत या सिरसा को लेकर कांग्रेस विचार कर रही है. पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता भूपेंद्र सिंह हुड्डा सोनीपत सीट नहीं देना चाहते हैं.
आप-कांग्रेस गठबंधन को लेकर आज कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने भी बातचीत की. दिल्ली कांग्रेस के प्रभारी पीसी चाको राहुल गांधी के आवास पर उनसे मिले.
दिल्ली: बीजेपी ने तेज की अपने प्रत्याशियों के नाम तय करने की प्रक्रिया
कांग्रेस और आम आदमी पार्टी के बीच गठबंधन को लेकर कई महीनों से असमंजस की स्थिति बनी हुई है. पहले तो कांग्रेस में ही आप से गठबंधन को लेकर दो राय थी. शीला दीक्षित का खेमा गठबंधन का विरोध कर रहा था. वहीं अजय माकन और पीसी चाको इसके समर्थन में थे. जब पार्टी में करीब-करीब सहमति बनी तो आप ने हरियाणा और पंजाब में भी गठबंधन की शर्त रख दी.
ध्यान रहे कि दिल्ली और हरियाणा में नामांकन दाखिल करने की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है. दिल्ली की सात और हरियाणा की 10 लोकसभा सीटों पर 12 मई को वोट डाले जाएंगे. हरियाणा में 2014 के चुनाव में बीजेपी ने सात, इनेलो ने दो और कांग्रेस ने एक सीट पर जीत दर्ज की थी. इस चुनाव में सभी पार्टियां अलग-अलग चुनाव लड़ी. 2014 के चुनाव में दिल्ली की सभी सात सीटों पर बीजेपी ने जीत दर्ज की थी.