ABP News Survey: उत्तराखंड की कड़ाके की ठंड के बीच सियासी सरगर्मियां देखने को मिल रही हैं. राज्य में बीजेपी और कांग्रेस के बीच कांटे की टक्कर मानी जा रही है. चुनावी रण में अरविंद केजरीवाल की आम आदमी पार्टी भी कूद पड़ी है. पार्टियां टिकट बांट चुकी हैं. उम्मीदवारों की सीट भी तय हो चुकी हैं. दल-बदल भी हो चुके हैं. वार-पलटवार का दौर बदस्तूर जारी है. अब हर किसी के मन में एक ही सवाल है कि कौन जीतेगा और कौन हारेगा. किसका पहाड़ी राज्य की सत्ता पर कब्जा होगा और कौन फिर से 5 साल के लिए वनवास झेलेगा.
इन सब सवालों को लेकर एबीपी न्यूज सी वोटर के साथ मिलकर लगातार उत्तराखंड की गलियों में लोगों की नब्ज टटोल रहा है ताकि एक तस्वीर साफ हो सके कि पहाड़ी राज्य में किस पार्टी के नाम की बयार बह रही है. हाल ही में कांग्रेस ने विधानसभा चुनाव के लिए उम्मीदवारों की तीसरी लिस्ट जारी की है, जिसमें सबसे प्रमुख नाम उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत का है.
कांग्रेस की तीसरी लिस्ट में हरीश रावत का विधान सभा क्षेत्र बदल दिया गया है, जो पहले घोषित किया गया था. हरीश रावत को पहले नैनीताल जिले की रामनगर विधान सभा सीट से उम्मीदवार बनाया गया था. अब वह नैनीताल जिले की ही लाल कुआं सीट से चुनाव लड़ेंगे. पहले इस सीट पर संध्या डालाकोटी को टिकट मिला था. इसी को लेकर एबीपी न्यूज ने लोगों की राय ली.
जब लोगों से पूछा गया कि रामनगर से टिकट देकर हरीश रावत का सीट बदल देने से कांग्रेस को फायदा होगा या नुकसान?
करीब 42 प्रतिशत लोगों ने कहा कि नुकसान होगा. जबकि 39 प्रतिशत लोग ने कहा कि इससे कांग्रेस को फायदा होगा. 19 प्रतिशत लोगों ने पता नहीं में जवाब दिया.
रामनगर से टिकट देकर हरीश रावत की सीट बदल देने से कांग्रेस को फायदा होगा या नुकसान?
फायदा- 39%
नुकसान- 42%
पता नहीं-19%
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