नई दिल्लीः लोकसभा चुनाव में उत्तर प्रदेश में सपा-बसपा गठबंधन को आपेक्षित सफलता नहीं मिली है. इन दलों की 80 सीटों पर जातिगत गोलबंदी की कोशिश सफल नहीं हो सकी. जातियों में बंटी इन दोनों पार्टियों का हर समीकरण धरातल पर नाकाम साबित हुआ. इस तरह सपा-बसपा गठबन्धन के जातीय समीकरण के मिथक ध्वस्त हो गए.
दोनों दल राज्य में हो रहे परिवर्तन को समझने में नाकाम रहे. वे लोगों तक अपनी बात को जनता तक पहुंचाने में कामयाब नहीं हो सके. दलित, पिछड़ा और मुस्लिम वोटों की फिराक में हुए इस गठबन्धन के सारे गणित ध्वस्त हो गए.
लेकिन फिर भी समाजवादी पार्टी का गढ़ मानी जाने वाली आजमगढ़ लोकसभा सीट पर अखिलेश अपनी साख बचाने में कामयाब रहे. उन्होंने भाजपा उम्मीदवार और भोजपुरी अभिनेता दिनेश लाल यादव 'निरहुआ' को भारी अंतर से हरा कर अपनी जीत सुनिश्चित की है.
अपनी जीत के बाद सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने ट्वीट किया है. ट्वीट करते हुए उन्होंने लिखा है कि ‘जनमत स्वीकार! उत्तर प्रदेश की सम्मानित जनता और तमाम कार्यकर्ताओं का धन्यवाद’.
आपको बता दें, आजमगढ़ लोकसभा सीट के लिए सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव खुद प्रत्याशी थे.
बता दें, आजमगढ़ लोकसभा सीट पर मतदान छठवें चरण में 12 May 2019 को हुआ था यहाँ से 2014 के लोकसभा चुनाव में समाजवादी पार्टी के मुलायम सिंह यादव ने जीत दर्ज की थी.