Atishi Name-Caste Controversy: अरविंद केजरीवाल के बाद दिल्ली सीएम की गद्दी पर आम आदमी पार्टी (आप) की युवा नेता आतिशी (43) बैठेंगी. फिलहाल वह राष्ट्रीय राजधानी की शिक्षा मंत्री हैं. उन्हें जितना सौम्य और शांत छवि के लिए जाना जाता है, उतना ही जमीनी स्तर पर काम के लिए भी दिल्लीवसियों और आप समर्थकों में पसंद किया जाता है. हालांकि, उनका नाता उस विवाद से भी रहा है, जो उनके उनके नाम, जाति और धर्म से जुड़ा है और लंबे समय तक इसने उन्हें सुर्खियों में रखा. यही वजह है कि वह शख्सियत तो एक हैं, पर उनके नाम 'अनेक' रहे. इनमें आतिशी मार्लेना सिंह, आतिशी सिंह, आतिशी मार्लिना और आतिशी शामिल हैं. इतना ही नहीं, उन्हें ईसाई से लेकर क्षत्रिय और राजपूत तक भी बताया जा चुका है. आइए, जानते हैं कि उनका असल धर्म और जाति क्या है व उनके बार-बार नाम बदलने की पूरी कहानी क्या है:
आठ जून, 1981 को राष्ट्रीय राजधानी में जन्मीं आतिशी ने साल 2019 में प्रेस कॉन्फ्रेंस (पीसी) के दौरान बताया था कि वह पंजाबी राजपूत हैं. उन्होंने कहा था, "मैं पंजाबी हिंदू परिवार से हूं. मैं क्षत्रिय हूं. मेरा लास्ट नेम (सरनेम) कार्ल मार्क्स और व्लादिमीर लेनिन से लिया गया है. मुझे यह सरनेम मेरे मम्मी-पापा ने दिया है, जो कि लेफ्ट विचारधारा के प्रति झुकाव रखते हैं." आतिशी ने इसी पीसी के दौरान यह भी जानकारी दी थी कि उनके पिता का नाम विजय सिंह है, जबकि पति का नाम प्रवीण सिंह है.
आतिशी को क्यों हटाना पड़ा था मार्लेना सरनेम?
दरअसल, साल 2018 में आतिशी ने सभी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स के साथ हर प्रकार के पब्लिसिटी मटीरियल से मार्लेना सरनेम हटा लिया था. आप नेत्री के इस कदम के बाद भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के कुछ नेताओं की ओर से आरोप लगाया गया था कि वह ईसाई हैं. विरोधी दल के इस बड़े आरोप पर सफाई में आतिशी की ओर से कहा गया था, "चूंकि, बीजेपी इलेक्शन में ध्रुवीकरण कर रही है और उसे मैं रोकना चाहती हूं." यही वजह रही कि उन्होंने मार्लेना सरनेम लिखना बंद कर दिया और सिर्फ आतिशी यूज करने लगीं. आप की ओर से बाद में इस कदम पर कहा गया था कि यह आतिशी का निजी फैसला है.
असल सरनेम सिंह, यूज करने के पीछे था स्ट्रैटेजिक मूव!
सियासी गलियारों और राजनीतिक जानकारों के बीच ऐसा भी कहा जाता है कि आतिशी का असली सरनेम यूज करने का फैसला इस बात से भी प्रभावित हो सकता है कि दिल्ली के कालकाजी में बड़ी संख्या में पंजाबी आबादी रहती है. हो सकता है कि यह उनका रणनीतिक कदम हो, जिसके जरिए वह उस वोटबैंक को साइलेंटली लुभाना चाहती हों.
एक नजर में जानिए कि कैसे बदलता गया आतिशी का नाम
- सबसे पहले आतिशी सरनेम में सिंह इस्तेमाल करती थीं. उनके पिता विजय सिंह है.
- बाद में लेफ्ट आइडियोलॉजी वाले पैरेट्स के चलते उन्होंने नया सरनेम यूज करना शुरू किया है, जो कि मार्क्स और लेनिन के नाम से मिलकर बना है. यह मार्लेना था, जिसे उन्हें बाद में ड्रॉप करना पड़ा.
- आतिशी की जिनसे शादी हुई है, वह भी सिंह हैं. ऐसे में उनका नाम आतिशी मार्लेना सिंह भी हुआ. हालांकि, यह नाम भी बहुत दिनों तक वह कंटीन्यू नहीं कर सकीं.
- आतिशी को विवाद के चलते मार्लेना सरनेम हटाना पड़ा. मौजूदा समय में वह सिर्फ आतिशी लिखती हैं. नाम के साथ कोई सरनेम यूज नहीं करती हैं.
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