Karnataka Elections 2023: 'तिरंगा लहराने पर निजाम की सेना ने उतारा मौत के घाट', कर्नाटक में अमित शाह बोले- कांग्रेस ने वोट बैंक के लालच में...
Karnataka Assembly Elections 2023: बीजेपी नेता अमित शाह ने कहा कि अगर सरदार पटेल न होते तो हैदराबाद को कभी आजादी नहीं मिलती. ये देश का हिस्सा नहीं होता.
Amit Shah Karnataka Visit: कर्नाटक विधानसभा चुनाव 2023 के मद्देनजर केंद्रीय गृहमंत्री और बीजेपी नेता अमित शाह रविवार (26 मार्च) को चुनावी राज्य के दौरे पर हैं. इस दौरान उन्होंने गोराटा में एक शहीद स्मारक का उद्घाटन किया. इसी दौरान एक रैली को संबोधित करते हुए अमित शाह ने कहा कि इस गोराटा गांव में महज ढाई फुट ऊंचा तिरंगा लहराने के लिए सैकड़ों लोगों को क्रूर निजाम की सेना ने मौत के घाट उतार दिया था.
उन्होंने कहा कि मुझे आज कहते हुए गर्व हो रहा है कि उसी धरती पर हम 103 फीट ऊंचा तिरंगा लहराया जा रहा है, जो किसी से नहीं छिप सकता है. उन्होंने आगे कहा कि उसी भूमि पर उन अमर शहीदों का स्मारक बनाया गया है. सरदार पटेल की यह 20 फीट ऊंची प्रतिमा हैदराबाद से निजाम को बाहर निकालने में हमारे पहले गृह मंत्री की ओर से निभाई गई महत्वपूर्ण भूमिका का प्रतीक है. इसी के चलते बीदर का यह क्षेत्र भारत का अंग बन सका.
'स्वतंत्रता दिलाने वालों को कांग्रेस ने नहीं किया याद'
बीजेपी नेता अमित शाह ने कांग्रेस पर सियासी हमला बोलते हुए कहा कि कांग्रेस ने ध्रुवीकरण की राजनीति और वोट बैंक के लालच में आजादी और 'हैदराबाद मुक्ति' के लिए खुद को बलिदान करने वाले लोगों को कभी याद नहीं किया. उन्होंने कहा कि अगर सरदार पटेल न होते तो हैदराबाद को कभी आजादी नहीं मिलती. बीदर को भी आजादी नहीं मिली होती.
#WATCH | Union Home Minister Amit Shah hoists a 103-ft tall Tricolour in Bidar, Karnataka. pic.twitter.com/3UWYuVsnk5
— ANI (@ANI) March 26, 2023
हाल ही में कर्नाटक की बीजेपी सरकार की ओर से मुस्लिमों के चार फीसदी आरक्षण को खत्म कर उन्हें ईडब्ल्यूएस में शामिल किए जाने पर भी केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने खुलकर बोला. उन्होंने कहा कि अल्पसंख्यकों को दिया जा रहा आरक्षण संविधान के अनुरूप नहीं था. संविधान में ऐस कोई भी आर्टिकल नहीं है, जो धर्म के आधार पर आरक्षण देने की बात करता हो.
उन्होंने कहा कि कांग्रेस सरकार ने अपनी ध्रुवीकरण की राजनीति के चलते अल्पसंख्यकों को आरक्षण दिया था. बीजेपी ने उस आरक्षण को खत्म कर दिया. वोक्कालिगा और लिंगायत समुदाय को ये आरक्षण दिया गया.
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