Public Meeting In Elections: केंद्रीय चुनाव आयोग (Election Commission) ने राजनीतिक दलों और उम्मीदवारों को थोड़ी रियायत देते हुए अब छोटी जनसभा (Public Meeting) करने की अनुमति दे दी है. केंद्रीय चुनाव आयोग ने अपने आदेश में साफ कहा है कि अब राजनीतिक पार्टियां (Political Parties) और उम्मीदवार (Candidate) अधिकतम एक हजार लोगों की उपस्थिति के साथ में जनसभा कर सकेंगे. हालांकि, इससे पहले भी केंद्रीय चुनाव आयोग ने छोटी जनसभाओं के लिए अनुमति दी थी लेकिन वह सिर्फ शुरुआती दो चरणों के लिए ही थी और खुले स्थानों पर होने वाली इन जनसभाओं में अधिकतम 500 लोगों के शामिल होने की बात कही गई थी जिसको अब बढ़ाकर 1000 कर दिया गया है.
चुनाव आयोग ने इस ताजा आदेश में डोर टू डोर कैंपेन के लिए भी अभी तक जो अधिकतम 10 लोगों की सीमा तय की गई थी उसको बढ़ाकर 20 लोग कर दिया है. इसके साथ ही चुनाव आयोग ने अपने आदेश में स्पष्टता देते हुए कहा है कि जिन नेताओं को सुरक्षा मिली हुई है तो ऐसे नेताओं के डोर टू डोर प्रचार में अधिकतम 20 लोगों की संख्या में सुरक्षाकर्मियों की संख्या शामिल नहीं होगी.
केंद्रीय चुनाव आयोग में अब बंद स्थानों पर होने वाली बैठकों और सभाओं के लिए भी अभी तक जो अधिकतम 300 लोगों की अनुमति दी गई थी उसको भी बढ़ाकर 500 कर दिया है. यानी कि अब बंद स्थानों पर होने वाली बैठकों में अधिकतम 500 लोग मौजूद रह सकेंगे या फिर जगह के हिसाब से अधिकतम 50 फीसदी और अगर ये 50 फीसदी 500 से कम होंगे तो अधिकतम संख्या 50% को ध्यान में रखकर तय होगी.
छोटी जनसभाओं को तो अनुमति जरूर मिल गई लेकिन अभी भी केंद्रीय चुनाव आयोग ने रैलियों, पदयात्रा, साइकिल यात्रा और वाहन यात्रा पर लगी रोक जारी रखी है ये रोक 11 फरवरी तक जारी रहेगी. लेकिन केंद्रीय चुनाव आयोग के इस ताजा आदेश ने राजनीतिक दलों और उम्मीदवारों को थोड़ी राहत तो जरूर दे दी है क्योंकि अब वो छोटी जनसभाओं और डोर टू डोर प्रचार के ज़रिये अपना चुनाव प्रचार कर सकेंगे.
Budget 2022: सेना ने सरकार को सौंपी 'विशलिस्ट', पाक-चीन से सीमा विवाद के बीच कितना बढ़ेगा बजट?