नई दिल्ली: कांग्रेस की वरिष्ठ नेता और दिल्ली की पूर्व मुख्यमंत्री शीला दीक्षित ने शुक्रवार को मांग की कि महात्मा गांधी के हत्यारे नाथूराम गोडसे को 'देशभक्त' बताने वाली भोपाल से बीजेपी उम्मीदवार प्रज्ञा सिंह ठाकुर की उम्मीदवारी चुनाव आयोग को रद्द कर देनी चाहिए. दीक्षित ने आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और बीजेपी अध्यक्ष ने पार्टी के लोकसभा उम्मीदवार के तौर पर प्रज्ञा को चुना था और उनके अत्यंत निंदनीय बयान के लिए मोदी-शाह को ही नैतिक तौर पर जवाबदेह ठहराया जाना चाहिए.


प्रधानमंत्री मोदी ने शुक्रवार को कहा कि वह गोडसे को देशभक्त करार देकर महात्मा गांधी का अपमान करने के लिए प्रज्ञा को कभी माफ नहीं करेंगे. उत्तर-पूर्वी दिल्ली सीट से कांग्रेस की लोकसभा उम्मीदवार दीक्षित ने कहा, ''महात्मा गांधी के हत्यारे नाथूराम गोडसे को देशभक्त करार देने को लेकर चुनाव आयोग को भोपाल से बीजेपी की लोकसभा उम्मीदवार प्रज्ञा सिंह ठाकुर की उम्मीदवारी रद्द कर देनी चाहिए.'' उन्होंने एक बयान में कहा, ''उसके (प्रज्ञा के) जहरीले बयान के लिए मोदी और शाह को खुद ही उसकी उम्मीदवारी वापस ले लेनी चाहिए थी.''


दीक्षित ने यह भी कहा कि यह शर्मनाक है कि अपने निंदनीय बयान के बावजूद बीजेपी के किसी शीर्ष नेता ने प्रज्ञा की निंदा नहीं की. दिल्ली की प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा, ''ऐसी व्यक्ति न केवल संसदीय चुनाव लड़ने के योग्य नहीं है बल्कि वह सभ्य समाज का हिस्सा बनने लायक भी नहीं है.''


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