Political Career of Gopal Italia: आम आदमी पार्टी के गुजरात ईकाई के अध्यक्ष और कतरगाम से उम्मीदवार के रूप में चुनावी मैदान में उतरे 33 वर्षीय गोपाल इटालिया ने छोटे से ही राजनीतिक करियर में एक लंबा सफर तय कर लिया है. वह गुजरात विश्वविघालय से स्नातक पास है. उन्होंने हार्दिक पटेल के नेतृत्व में शुरू किए गए पाटीदार आंदोलन में प्रमुख भूमिका निभाई थी. 


इटालिया 2013 में हवलदार के तौर पर गुजरात की पुलिस ईकाई लोकरक्षक दल से जुड़े थे. बाद में 2014 में गोपाल इटालिया को अहमदाबाद क्लेक्ट्रेट में क्लर्क के रूप में गुजरात राजस्व विभाग में नौकरी मिल गई थी. हालांकि 2017 में राजस्व विभाग ने उन्हें सेवा नियमों का उल्लंघन करने के लिए बर्खास्त कर दिया था. 


विवादों से घिरे रहे हैं गोपाल इटालिया


गोपाल इटालिया के साथ विवादों का पुराना नाता रहा हैं. गोपाल इटालिया तब विवादों में आए थे जब उन्होंने सरकारी कर्मचारी के रूप में गुजरात के उपमुख्यमंत्री नितिन पटेल से राज्य निषेध कानून के बारे में अपनी शंकाओं को दूर करने के लिए पूछताछ की थी. इसके  बाद  2014 में गुजरात की पुलिस ईकाई लोकरक्षक दल को छोड़ने के बावजूद भी वो खुद को उसका हिस्सा बताते रहे जिसे लेकर इटालिया पर मुकदमा चलाया गया था. 


एक के बाद एक विवाद में वह शामिल होते गए. उन्होंने राज्य में बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार का हवाला देते हुए विधानसभा के बाहर राज्य के तात्कालीन मुख्यमंत्री प्रदीप सिंह जडेजा पर जूतां फेंका था. इस घटना के कारण सेवा नियमों का उल्लंघन करने के लिए राजस्व विभाग ने उनको पद से बर्खास्त कर दिया था. हालांकि बाद में वह समाजिक कार्यकर्ता के रूप में काम करने लगे थे. 


2020 में आप का चेहरा बने इटालिया


गोपाल इटालिया ने साल 2020 में आम आदमी पार्टी में कदम रखा था. पहले आप ने इटालिया को गुजरात ईकाई का उप-अध्यक्ष बनाया था लेकिन आप ने बदलाव करते हुए उन्हे राज्य ईकाई का ही अध्यक्ष बना दिया था. वह पिछले 2 सालों से गुजरात में आप का चेहरा रहे हैं. आप ने गोपाल इटालिया के नेतृत्व में ही नगर निकाय की 27 सीटों पर जीत  हासिल की थी. गुजरात विधानसभा के 2022 चुनावों में वह आप की ओर से कतरगाम सीट से चुनाव लड़ रहे हैं. गोपाल इटालिया का मुकाबला बीजेपी के विनोद मोरादिया और कांग्रेस के कल्पेश वरिया से होगा. 


यह भी पढ़े:   Gujarat Election 2022: बीजेपी के साथ हार्दिक पटेल, कहां हैं पाटीदार आंदोलन के अन्य नेता ?