MSP on Apple Crops: हिमाचल प्रदेश में विधानसभा चुनावों की तारीखों के एलान के बाद से ही प्रदेश में राजनीतिक पार्टियां वादों की झड़ी लगा चुके हैं. 12 नवंबर को चुनावों के लिए मतदान होना है. ऐसे में सभी पार्टियां खूब जोरों शोरों से चुनाव प्रचार में जुट गई हैं. प्रदेश में अलग-अलग पार्टियों के द्वारा बड़ी बड़ी रेलियों का आयोजन भी किया जा रहा है और उन रेलियों में जनता को रूझाने के लिए हर बार की तरह वादे किए जा रहे हैं. ठीक इसी प्रकार हिमाचल के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने प्रदेश की जनता से वादा  किया है कि वह सेब की फसलों पर न्यूनतम समर्थन मूल्य(एमएसपी) की प्रदेश की जनता की मांग को पूरा करेंगे. हिमाचल विधानसभा चुनावो में कांग्रेस भाजपा को सत्ता से बेदखल करने के  लिए पूरी ऐड़ी चोटी का जोर लगा रही है.


सेब पर 20 रूपये प्रति किलो एमएसपी देगी कांग्रेस


पूर्व सीएम ने बताया कि हिमाचल के सेब उत्पादक सेब पर एमएसपी की मांग कर रहे हैं, ऐसे में कांग्रेस ने कहा कि उनकी पार्टी सेब उत्पादकों को 20 रूपये  किलो के हिसाब से एमएसपी देंगे यदि वह सत्ता में वापसी करते हैं. बता दें कि कांग्रेसी नेता चुनाव प्रचार के लिए सोमवार की सुबह कुल्लु पहुंचे थे. भूपेंद्र सिंह हुड्डा प्रदेश के लाहुल-स्पीति में कांग्रेस उम्मीदवारों के लिए चुनाव प्रचार करेंगे. हुड्डा ने बताया कि उनको प्रदेश की जनता से अपार समर्थन मिला है. 


हिमाचल के ये हैं चुनावी मुद्दे


हिमाचल प्रदेश में सभी पार्टियां ओल्ड पेंशन स्कीम, डबल इंजन कार्ड, पेपर लीक केस, महंगाई, बेरोजगारी और सेब की फसलों पर एसएसपी जैसे मुद्दों से सत्ता में वापसी और सत्ता में दोबारा सरकार बनाने के लिए पूरी कोशिश कर रहें हैं.

पुरानी पेंशन स्कीम हिमाचल के निवासियों के लिए एक बड़ा मुद्दा है. वहां के लोग मांग कर रहे हैं कि पुरानी पेंशन स्कीम को दोबारा लागू किया जाए क्योंकि ओएसपी को 2003 में ही खत्म कर दिया गया था. बीते दिनों कांग्रेस की नेता प्रियंका गांधी प्रदेश में चुनाव प्रचार पर गई थी जहां उन्होने जनता से वादा किया कि यदि उनकी पार्टी सत्ता में वापसी करती है तो वह प्रदेश में दोबारा ओएसपी को लागू करेंगी.


प्रदेश में बेरोजगारी के भयावह आंकड़े


हिमाचल में  बेरोजगारी एक सबसे गंभीर विषय है जिस पर सभी राजनीतिक पार्टियां अपनी वोट बैंक की चाल चल रही हैं. प्रदेश में बेरोजगारी की समस्या से वहां के युवाओं में आक्रोश है. केंद्रीय मॉनीटरिंग इंडियन इकॉनॉमी ने प्रदेश में  बेरोजगारी के भयावह आकड़े पेश किए हैं. आकड़ो की मानें तो हिमाचल में  बेरोजगारी दर 9.2% है जो कि पूरे देश के मुकाबले 7% बेरोजगारी दर से बहुत ज्यादा है. लेबर और रोजगार कार्यालय के अनुसार पूरे राज्य में 9 लाख से भी अधिक युवा बेरोजगारी की समस्या से जूझ रहे हैं. प्रदेश में तकरीबन हर साल 60 हजार बेरोजगार युवा बढ़ते हैं.


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