Mandi News: मंडी जिले की धर्मपुर सीट (Dharampur seat) पर बीजेपी द्वारा अपने मंत्री महेंद्र सिंह ठाकुर (Mahendra Singh Thakur) की जगह उनके बेटे रजत को टिकट देने के कारण उनके घर में बगावत छिड़ गई है. बीजेपी महिला मोर्चा की प्रदेश महामंत्री और 10 साल से बीजेपी का साथ निभाने वाली वंदना गुलेरिया (Vandana Guleria) धर्मपुर सीट से इस बार अपने पिता महेंद्र सिंह ठाकुर की जगह टिकट की दावेदार थी, लेकिन बीजेपी ने उनकी जगह उनके भाई रजत ठाकुर (Rajat Thakur) को टिकट दे दिया, जिससे नाराज होकर उन्होंने पार्टी छोड़ दी. उन्होंने महिला मोर्चा के प्रदेश महामंत्री के पद से अपना इस्तीफा बीजेपी महिला मोर्चा की अध्यक्ष रश्मि धर सूद को सौंप दिया.
कांग्रेस बना सकती है वंदना को धर्मपुर से उम्मीदवार
वंदना गुलेरिया के पार्टी छोड़ते ही कांग्रेस ने उन पर डोरे डालने शुरू कर दिये हैं. माना जा रहा है कि वंदना कांग्रेस की टिकट पर धर्मपुर सीट से अपने भाई को चुनौती दे सकती हैं. पार्टी छोड़ने के बाद वंदना ने कहा कि परिवारवाद में हमेशा बेटियों को पीसा जाता है. वैसे तो बीजेपी परिवारवाद को बढ़ावा नहीं देने की बात कहती है मगर असलियत इससे बिल्कुल उलट है. वंदना ने कहा कि टिकट दिल्ली में बंटते हैं मगर वोट दिल्ली में नहीं पड़ते. जो ग्राउंड पर दिन-रात काम करता है वोट उसी को मिलते हैं. वंदना का दावा है कि उनके साथ धर्मपुर बीजेपी मंडल के तमाम पदाधिकारियों समेत बड़ी संख्या में महिला वर्करों ने भी बीजेपी छोड़ी है.
वंदना के पिता अब हुए रिटायर
धर्मपुर विधानसभा सीट से लगातार सात बार विधानसभा चुनाव जीते महेंद्र सिंह ठाकुर अब अपने बेटे को राजनीति में लाना चाहते हैं और इसलिए उन्होंने अपने कदम पीछे खींचते हुए अपने बेटे को टिकट दिलवाया है. बता दें कि महेंद्र सिंह ठाकुर का नाम अलग-अलग चुनाव चिह्र पर इलेक्शन जीतने की वजह से गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड में भी दर्ज है. 1990 में अपने राजनीतिक जीवन की शुरुआत करने वाले महेंद्र सिंह ने अपना पहला चुनाव निर्दलीय जीता. 1993 के मध्यावधि चुनाव में वह कांग्रेस की टिकट पर लड़कर चुनाव जीते. 1998 का चुनाव उन्होंने पंडित सुखराम की पार्टी हिमाचल विकास कांग्रेस की टिकट पर लड़कर जीता, इसके अलावा वह हिम लोकतांत्रिक मोर्चा की टिकट पर भी चुनाव लड़कर जीत चुके हैं.
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