Karnataka Elections: बीजेपी के वरिष्ठ नेता बीएस येदियुरप्पा के आवास पर हुई एक बैठक में कर्नाटक के सीएम बसवराज बोम्मई ने लिंगायत मुख्यमंत्री पर बीजेपी की तरफ से कोई निर्णय लेने से इनकार किया है. सीएम बोम्मई कहा कि पीएम नरेंद्र मोदी नामांकन प्रक्रिया पूरी होने के बाद राज्य विधानसभा चुनाव में प्रचार के लिए कर्नाटक जाएंगे. वरिष्ठ लिंगायत नेता जगदीश शेट्टार और लक्ष्मण सावदी विधानसभा चुनाव में टिकट नहीं मिलने पर बीजेपी छोड़कर कांग्रेस में शामिल हो गए थे. इसके बाद सीएम बोम्मई की ऐसी टिप्पणी सामने आई है.
लिंगायत नेताओं की बैठक
सीएम बोम्मई ने कहा, 'बैठक में लिंगायत मुख्यमंत्री की घोषणा के संबंध में कोई निर्णय नहीं लिया गया है. बीएस येदियुरप्पा के नेतृत्व में लिंगायत नेताओं की ये बैठक मौजूदा राजनीतिक स्थिति का जायजा लेने के लिए हुई है. इन नेताओं ने कांग्रेस नेताओं की तरफ से किए जा रहे दुष्प्रचार का जवाब देने और लिंगायत मुख्यमंत्री मामले को लेकर भी सुझाव दिए हैं'. इस बैठक में केंद्रीय मंत्री धर्मेंद्र प्रधान भी मौजूद थे. उन्होंने कहा कि वह कर्नाटक के नेता की भावनाओं को दिल्ली के नेताओं तक पहुंचाएंगे.
लिंगायत धर्म को विभाजित कर रही कांग्रेस
कर्नाटक कांग्रेस अध्यक्ष डीके शिवकुमार के बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए सीएम बोम्मई ने कहा, 'बीजेपी का अभियान वहीं से शुरू होगा. वहां स्थानीय लोग मौजूद थे, लेकिन शिवकुमार उनसे नहीं मिले. कांग्रेस पार्टी ने लिंगायत धर्म को विभाजित करने की कोशिश की. लोग उस पार्टी को सिर्फ वोट बैंक की राजनीति के लिए माफ नहीं करेंगे'. दरअसल, कनकपुरा में एक मिलिट्री होटल का दौरा करने के लिए मंत्री आर अशोक को डीके शिवकुमार ने आमंत्रित किया था.
बीते गुरुवार को सीएम बोम्मई ने कहा 'बीजेपी ने सबसे ज्यादा टिकट लिंगायत समुदाय के नेताओं को दिए हैं. पार्टी लगातार बैठकें कर रही है, जिसके तहत येदियुरप्पा के नेतृत्व में बेंगलुरु में एक बैठक आयोजित की गई थी. नामांकन दाखिल करने की आज आखिरी तारीख है और नामांकन वापस लेने की आखिरी तारीख 24 अप्रैल है'. बता दें कि कर्नाटक विधानसभा चुनाव एक चरण में 10 मई को होंगे और वोटों की गिनती 13 मई को होगी.