Karnataka Exit Poll Results: 'सरकार गठन में...', एग्जिट पोल के बाद एचडी कुमारस्वामी की पार्टी JDS ने बता दी अपनी मंशा
Karnataka Polls: मतदान के बाद आए अधिकांश एग्जिट पोल्स में सत्तारूढ़ बीजेपी पर कांग्रेस को बढ़त से त्रिशंकु विधानसभा की संभावना जताई गई है. 224 विधानसभा सीटों के लिए मतों की गिनती 13 मई को होगी.
Karnataka Assembly Elections 2023: कर्नाटक में विधानसभा चुनाव में ज्यादातर एग्जिट पोल में कांग्रेस और बीजेपी के बीच कड़ी टक्कर का अनुमान जताए जाने के बीच नतीजों को लेकर दोनों दलों के नेताओं की धड़कनें तेज हो गई हैं. जबकि जनता दल (सेक्युलर) त्रिशंकु जनादेश की उम्मीद कर रहा है ताकि वह सरकार गठन में अहम भूमिका निभा सके.
हालांकि, मतदान के बाद आए अधिकांश एग्जिट पोल्स में सत्तारूढ़ बीजेपी पर कांग्रेस को बढ़त दिखाई गई है और राज्य में त्रिशंकु विधानसभा की संभावना जताई गई है. हालांकि, पूरी तस्वीर 13 मई को होने जा रही मतगणना के बाद ही साफ हो पाएगी.
फिर से ‘किंगमेकर’ बनेगा जेडी(एस)?
कई हफ्ते के प्रचार और बुधवार (10 मई) को हुए मतदान के बाद आखिरकार सभी पार्टियों के नेताओं को गुरुवार (11 मई) को कुछ आराम करने का मौका मिला. दोनों राष्ट्रीय दलों के सूत्रों ने कहा कि उन्हें अपनी पार्टी के आसानी से जीतने का भरोसा है, लेकिन एग्जिट पोल ने निश्चित रूप से उन्हें एक हद तक चिंतित कर दिया है. उन्होंने कहा कि कोई नहीं चाहता कि इस बार भी 2018 जैसी स्थिति सामने आए.
त्रिशंकु जनादेश की स्थिति में जद (एस) महत्वपूर्ण कारक होगा और 2018 की तरह वह ‘किंग’ या ‘किंगमेकर’ के रूप में उभर सकता है.
त्रिशंकु जनादेश का परिदृश्य है
सूत्रों ने बताया कि खंडित जनादेश की स्थिति में गठबंधन सरकार के गठन की कुंजी रखने वाले पार्टी जद (एस) के नेता एच डी कुमारस्वामी स्वास्थ्य जांच के लिए सिंगापुर रवाना हो गए हैं. वो मतगणना के दिन वापस आ जाएंगे. दरअसल जेडी(एस) नेता को चुनाव प्रचार के दौरान थकावट और कमजोरी के कारण अस्पताल में भर्ती कराया गया था.
जेडी(एस) के एक नेता ने नाम न छापने की शर्त पर कहा, ‘‘निश्चित तौर पर त्रिशंकु जनादेश का परिदृश्य है और जेडी (एस) की सक्रिय भूमिका के साथ गठबंधन सरकार की प्रबल संभावना है. परिणामों को औपचारिक रूप से सामने आने दें. उसके बाद चीजें सामने आएंगी कि कौन क्या भूमिका निभाएगा.’’
पिछले चुनाव में बीजेपी थी सबसे बड़ी पार्टी
साल 2018 के पिछले विधानसभा चुनावों में बीजेपी 104 सीटें जीतकर सबसे बड़ी पार्टी के रूप में उभरी थी. इसके बाद कांग्रेस 80 सीटें और जेडी (एस) 37 सीटें जीतकर क्रमश: दूसरे और तीसरे स्थान पर रहीं. एक निर्दलीय सदस्य भी था, जबकि बहुजन समाज पार्टी (बसपा) और कर्नाटक प्रज्ञावंत जनता पार्टी (केपीजेपी) के एक-एक सदस्य निर्वाचित हुए थे.
उस वक्त भी किसी पार्टी को स्पष्ट बहुमत नहीं मिलने की वजह से कांग्रेस और जेडी (एस) के गठबंधन करने की कोशिश के बीच सबसे बड़ी पार्टी बीजेपी ने सरकार बनाने का दावा पेश किया और वरिष्ठ नेता बी एस येदियुरप्पा के नेतृत्व में सरकार बनी थी. हालांकि, विश्वास मत से पहले तीन दिनों के भीतर ही उनकी सरकार गिर गई. क्योंकि येदियुरप्पा आवश्यक संख्या नहीं जुटा सके थे.
इसके बाद, कांग्रेस-जेडी(एस) गठबंधन ने सरकार बनाई और कुमारस्वामी मुख्यमंत्री बने,लेकिन 14 महीनों के भीतर ही यह सरकार भी गिर गई क्योंकि 17 विधायकों ने इस्तीफा दे दिया और वे सत्तारूढ़ गठबंधन से बाहर आ गए. इसके बाद सभी बीजेपी में शामिल हो गए और पार्टी की सत्ता में वापसी में मदद की. अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के महासचिव और कर्नाटक के प्रभारी रणदीप सिंह सुरजेवाला ने गुरुवार ( 11 मई ) को कांग्रेस विधायक दल के नेता सिद्धारमैया से यहां उनके आवास पर मुलाकात की और चर्चा की.
सीएम ने जनता पर जताया भरोसा
वहीं मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई एग्जिट पोल को खारिज करते हुए बीजेपी की आसान जीत को लेकर आश्वस्त दिखे. उन्होंने कहा, ‘‘पिछली बार कर्नाटक चुनाव के दौरान एग्जिट पोल में कांग्रेस को 107 और बीजेपी को 80 सीटें मिलने का अनुमान जताया गया था, लेकिन वास्तव में यह उल्टा था. बीजेपी को 104 और कांग्रेस को 80 सीटें मिली थीं. एग्जिट पोल के बारे में ऐसे कई उदाहरण हैं और .ये एक बार फिर दोहराया जाएगा.’’
यह पूछे जाने पर कि क्या पार्टी 150 सीटें जीतने के अपने लक्ष्य को हासिल करेगी, सीएम बोम्मई ने कहा कि मोदी का प्रचार अभियान बीजेपी के लिए एक बड़ा कारगर था और इसका युवाओं और महिला मतदाताओं के बीच व्यापक प्रभाव पड़ा. उन्होंने कहा, ‘‘मैंने 150 नहीं कहा है, मैं कहता रहा हूं कि बीजेपी को पूर्ण बहुमत मिलेगा और हमें यह मिलेगा.’’
'कांग्रेस 141 सीटें जीतेगी'
प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष डी के शिवकुमार ने भी विश्वास जताया कि कांग्रेस 141 सीटें जीतेगी और पूर्ण बहुमत के साथ सरकार बनाएगी. उन्होंने त्रिशंकु विधानसभा की संभावना से इनकार किया. कनकपुरा विधानसभा क्षेत्र में अपने मतदाताओं को धन्यवाद देते हुए शिवकुमार ने कहा कि उन्होंने जो ताकत दी है, वह सिर्फ उनके लिए नहीं है, यह राज्य के लोगों के लिए है. उन्होंने कहा, ‘‘यहां हर घर के लोग उम्मीदवार थे और उन्होंने चुनाव लड़ा.’’
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