नई दिल्ली: आंध्रप्रदेश के मुख्यमंत्री एन चंद्रबाबू नायडू ने शुक्रवार को चुनाव आयोग पर आरोप लगाया कि वह उनकी सरकार की शक्तियों को हड़प रहा है और उसे अपने कर्तव्यों का निर्वहन करने से रोक रहा है. मुख्य निर्वाचन आयुक्त सुनील अरोड़ा को लिखे एक पत्र में उन्होंने कहा कि आंध्रप्रदेश के मुख्य चुनाव अधिकारी (सीईओ) ने मीडिया को कथित तौर पर कहा कि मुख्यमंत्री के पास समीक्षा बैठक करने का अधिकार नहीं है क्योंकि अभी आदर्श आचार संहिता प्रचलन में है.
नायडू ने आरोप लगाया कि सीईओ ने अपर महानिदेशक (आसूचना) को भी निर्देश दिया कि वह मुख्यमंत्री को रिपोर्ट न करें. नायडू ने अपने पत्र में आरोप लगाते हुये कहा, ''आदर्श आचार संहिता में इस तरह का कोई प्रावधान नहीं है. मैं कर्तव्यों से बंधा हूं और समीक्षा बैठक करने के शक्ति से युक्त हूं. सीईओ गलत सूचना फैला रहे हैं और अपने अधिकार क्षेत्र से आगे जा रहे हैं.''
चंद्रबाबू नायडू ने चुनाव आयोग पर सरकार की शक्तियों को हड़पने का आरोप लगाते हुये कहा, ''चुनाव आयोग को ऐसा कोई प्राधिकार नहीं मिला है जिससे वह निर्वाचित सरकार को उसके कर्तव्यों का निर्वहन करने से रोक सके.'' मुख्यमंत्री ने आरोप लगाया कि चुनाव आयोग केंद्र की बीजेपी नीत सरकार और इसी पार्टी की दूसरी राज्य सरकारों और उनकी सहयोगियों की मदद कर रहा है.
आंध्रप्रदेश के मुख्यमंत्री ने दावा किया कि केंद्र सरकार ने 15 अप्रैल को मंत्रिमंडल की बैठक की थी जबकि आदर्श आचार संहिता प्रचलन में थी और यहां तक आज भी, नियमित तौर पर सुरक्षा संबंधी बैठकें केंद्र स्तर पर हुई हैं. उन्होंने दावा किया कि तेलंगाना के मुख्यमंत्री नियमित रूप से समीक्षा बैठक कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि चुनाव प्रक्रिया में 42 दिन लगेंगे और इतने दिनों के लिए प्रशासनिक कार्यों को नहीं रोका जा सकता है.
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