लोकसभा चुनाव 2019 में इस बार एक सीट जो सबसे ज्यादा चर्चाओं में है वह सीट केरल की वायनाड लोकसभा सीट है. इस सीट पर कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी चुनाव लड़ रहे हैं. वह अपनी परंपरागत सीट अमेठी के अलावा वायनाड से भी चुनाव लड़ रहे हैं. वायनाड में तीसरे चरण तो वहीं अमेठी में चौथे चरण में मतदान होना है. ऐसे में जहां अमेठी में राहुल गांधी को एक बार फिर केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी सीधे टक्कर दे रहीं है तो वहीं वायनाड सीट पर चुनौती इतनी मुश्किल नहीं लग रही है.


राहुल गांधी का राजनीतिक सफर


नेहरू-गांधी परिवार की राहुल चौथी पीढ़ी के सदस्य है. अभी फिलहाल में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के अध्यक्ष पद पर कार्यरत है और इसी के साथ वह नेशनल यूथ यूनियन और राष्ट्रीय युवा कांग्रेस के चेयरपर्सन भी है. इससे पहले राहुल अपनी पार्टी में सचिव पद पर थे. इसके अलावा वे भारतीय संसद के सदस्य भी है. वर्तमान में राहुल ही पूरी पार्टी कि बागडोर अपने हाथ में लिए हुये है और इन्ही के दिशा निर्देशों पर पार्टी चल रही है.


राहुल गांधी का जन्म 19 जून 1970 को नई दिल्ली में भारत के पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी और पूर्व कांग्रेस अध्यक्षा श्रीमती सोनिया गांधी के यहां हुआ था. वह अपने माता-पिता की दो संतानों में बड़े हैं. उनसे छोटी प्रियंका गांधी वाड्रा हैं जो फिलहाल पश्चिमी उत्तर प्रदेश की प्रभारी और पार्टी की महासचिव हैं.


राहुल गांधी के राजनीतिक करियर की शुरुआत मई 2004 में हुई जब उनके चुनाव लड़ने की घोषणा हुई. वह अपने पिता के पूर्व निर्वाचन क्षेत्र उत्तर प्रदेश के अमेठी से लोकसभा चुनाव के लिए खड़े हुए. राहुल को अपने परिवार की इमेज का फायदा मिला और ये अपने खानदानी गढ़ अमेठी निर्वाचन क्षेत्र से लोकसभा के लिए चुने गए. इसके बाद राहुल गांधी ने अपनी मां और तत्कालीन कांग्रेस की अध्यक्ष सोनिया गांधी के साथ विभिन्न सरकारी कार्यक्रम और पार्टी की बैठकों में भाग लेना शुरू किया.


इसके बाद साल 2007 में भी राहुल ने उत्तर प्रदेश में हो रहे विधानसभा चुनावों में प्रचार के लिए महत्वपूर्ण भूमिका अदा की. इसी साल वह भारतीय राष्ट्रीय छात्र संघ और पार्टी के युवा संघ के सचिव बने.


इसके बाद 2009 के लोकसभा चुनाव में राहुल फिर अमेठी निर्वाचन क्षेत्र में अपनी सीट बचाने में कामयाब सफल रहें. राहुल को 19 जनवरी 2013 में जयपुर में आयोजित पार्टी सदस्यों की मीटिंग में कांग्रेस पार्टी का उपाध्यक्ष नियुक्त किया गया. राहुल गांधी साल 2014 में भी अमेठी से जीत दर्ज की. इसके बाद साल 2017 में राहुल को निर्विरोध पार्टी का अध्यक्ष चुना गया. उन्होंने साल 2017 में 16 दिसंबर को कांग्रेस अध्यक्ष पद का कार्यभार संभाला.


वायनाड लोकसभा सीट से राहुल गांधी क्यों


केरल की वायनाड लोकसभा सीट 2008 में अस्तित्व में आई. तब से अब तक इस सीट पर कांग्रेस का ही कब्जा है. इस सीट के तहत 7 विधानसभा सीटें आती हैं. ये सातों विधानसभा सीटें मनंथावाड़ी, सुल्तानबथेरी, कल्पेट्टा और कोझीकोड जिलों में पड़ती हैं. 2009 से इस सीट पर कांग्रेस के एमआई शानवास सांसद हैं. अब कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के यहां से चुनाव लड़ने की वजह से यह संसदीय सीट हाई-प्रोफाइल सीटों में शुमार हो गई है और सभी की नजर इस सीट पर भी लग गई है.


कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी दक्षिण के रण में उतरकर वहां के राजनीतिक समीकरण साधने की रणनीति पर काम रहे हैं. एक दौर में दक्षिण भारत कांग्रेस का मजबूत गढ़ माना जाता था, लेकिन वक्त के साथ कांग्रेस की जमीन खिसकती गई. ऐसे में राहुल दक्षिण के सियासी रण में खुद उतरकर अपनी सियासी जमीन को वापस पाने की है.


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