Lok Sabha Election 2024: सांसद बनने के बाद कौन सा अवार्ड चाहती हैं कंगना रनौत, सियासत से सिनेमा तक का बताया पूरा प्लान
Lok Sabha Election: हिमाचल प्रदेश के मंडी लोकसभा क्षेत्र से भाजपा प्रत्याशी और एक्ट्रेस कंगना रनौत ने कहा है हम पीएम की गारंटी बहुत गंभीरता से लेते है. हम चुनाव जीतने के लिए कुछ भी नहींं बोलते.
Kangana Ranaut On Modi Guarantees: लोकसभा चुनाव 2024 के पांचवें चरण से पहले हिमाचल प्रदेश के मंडी लोकसभा क्षेत्र से भाजपा प्रत्याशी और एक्ट्रेस कंगना रनौत ने कहा है कि मुझे एक अभिनेत्री के तौर पर राष्ट्रीय पुरस्कार हों या पद्मश्री पुरस्कार मिले हैं, लेकिन आने वाले समय में मैं चाहती हूं की मंडी क्षेत्र में विकास के लिए मुझे 'एमपी ऑफ द ईयर' का पुरस्कार भी मिले, मुझे इससे बहुत खुशी होगी.
कंगना ने बताया कि आगे चलकर मुझे कोई मंत्रालय मिलता है या कोई बड़ी जिम्मेदारी मिलती है, तो हम सोच सकते हैं. अगर मैं यहां से चुन कर आती हूं तो पहले मुझे मंंडी के विकास के लिए काम करना है.
कई नई फिल्मों को किया साइन
फिल्मों के प्रोजक्ट्स को लेकर जब कंगना से पूछा गया तो उनका कहना है कि उनके पास इस समय कई फिल्में हैं, जल्द ही उनकी नई फिल्म इमरजेंसी आने वाली है. चुनाव प्रचार के चलते आर माधवन जी के साथ एक फिल्म को बीच में छोड़ कर आई हूं, जिसे मुझे फिर से शुरू करना है. इसके अलावा 3 से 4 फिल्में मैने साइन की हुई हैं. मां सीता को लेकर एक फिल्म साइन की हुई है और भी कई फिल्में आने वाली हैं. हालांकि, चुनाव से जुड़े काम भी मेरे लिए महत्वपूर्ण है.
मंडी शहर में कई चुनौतियां है
मंडी में सेब के बागवान को लेकर कंगना ने कहा कि इन बागवानों की भी अपनी चुनौतियां हैं. इनके लिए कोल्ड स्टोरेज की व्यवस्था हो और सेब के दाम बढ़ने जैसे कई चैलेंजस है हमारे सामने. ये सारी बातें तो प्रशासन के साथ बैठ कर करने वाली बात है.
भाजपा में मोदी का गारंंटियों को गंभीरता से लिया जाता है
हालांकि, एक प्रत्याशी होकर ये मेरा काम नहीं है कि मैं अभी किसी भी प्रकार का अनाउंसमेंट करूं. हमें स्ट्रिक्टली कहा जाता है कि हमें अपने हिसाब से कोई भी वादे नहीं करने है. ये सभी बहुत डीटेल वाली चीजें हैं और खासकर हमारी पार्टी की, पीएम मोदी की गारंटी बहुत गंभीरता से ली जाती है. मुझे नहीं लगता की अन्य किसी भी पार्टी की ऐसी सख्त प्रोटोकॉल होती हैं.हम चुनाव जीतने के लिए कुछ भी नहींं बोलते. जनता को जो भी मिला, वो तो पार्टी के चुनाव जीतने के बाद आई हुई चीजें हैं. हमने वादे कर के चुनाव नहीं जीते. हमें भी पार्टी के संस्कारों के हिसाब से चलना पड़ता है.