लोकसभा चुनाव 2019: तीसरे चरण में यूपी की 10 सीटों पर मतदान 23 अप्रैल को, कई दिग्गजों की प्रतिष्ठा दांव पर
बता दें कि तीसरे चरण में 95.5 लाख पुरुषों और 80.9 लाख महिलाओं समेत कुल एक करोड़ 76 लाख मतदाता कुल 120 प्रत्याशियों में से अपने प्रतिनिधि चुनेंगे. इस चरण के लिये कुल 12,128 मतदान केन्द्र और 20,116 मतदेय स्थल बनाये गये हैं.
लखनऊ: लोकसभा चुनाव के तीसरे चरण में उत्तर प्रदेश की 10 सीटों पर 23 अप्रैल को होने वाला मतदान सपा संस्थापक मुलायम सिंह यादव समेत कई दिग्गज नेताओं का सियासी भाग्य तय करेगा.
राज्य के मुख्य निर्वाचन अधिकारी एल. वेंकटेश्वर लू ने बताया कि तीसरे चरण में प्रदेश की कुल 10 लोकसभा सीटों - मुरादाबाद, रामपुर, सम्भल, फिरोजाबाद, मैनपुरी, एटा, बदायूं, आंवला, बरेली और पीलीभीत - के लिये मंगलवार को मतदान होगा.
उल्लेखनीय कि वर्ष 2014 में इनमें से सात सीटें बीजेपी ने जीती थीं. मैनपुरी, बदायूं और फिरोजाबाद सीटें सपा के खाते में गयी थी.
तीसरे चरण में 95.5 लाख पुरुषों और 80.9 लाख महिलाओं समेत कुल एक करोड़ 76 लाख मतदाता कुल 120 प्रत्याशियों में से अपने प्रतिनिधि चुनेंगे. इस चरण के लिये कुल 12,128 मतदान केन्द्र और 20,116 मतदेय स्थल बनाये गये हैं.
तीसरे चरण में सपा संस्थापक मुलायम सिंह यादव (मैनपुरी) के साथ-साथ आजम खान (रामपुर), उनकी प्रतिद्वंद्वी जया प्रदा, शिवपाल सिंह यादव (फिरोजाबाद), वरुण गांधी (पीलीभीत) और संतोष गंगवार (बरेली) जैसे दिग्गज नेताओं की प्रतिष्ठा दांव पर है.
मैनपुरी में अपना 'आखिरी' चुनाव लड़ रहे मुलायम सिंह यादव का मुकाबला बीजेपी उम्मीदवार प्रेम सिंह शाक्य से है. दरअसल, कांग्रेस ने यहां अपना प्रत्याशी नहीं उतारा है, जबकि सपा संस्थापक को गठबंधन के तहत बसपा-रालोद का भी समर्थन प्राप्त है.
बहरहाल, इस चरण में सबसे दिलचस्प मुकाबला फिरोजाबाद में होगा, जहां सपा से अलग होकर प्रगतिशील समाजवादी पार्टी बनाने वाले शिवपाल सिंह यादव और उनके भतीजे एवं सपा प्रत्याशी अक्षय यादव आमने सामने हैं. अक्षय इस सीट से मौजूदा सांसद हैं, जबकि शिवपाल पहली बार लोकसभा चुनाव लड़ रहे हैं.
रामपुर में, अपने विवादास्पद बयानों के लिये अक्सर चर्चा में रहने वाले सपा प्रत्याशी आजम खान का मुख्य मुकाबला बीजेपी उम्मीदवार जया प्रदा से है. कांग्रेस ने यहां से पूर्व विधायक संजय कपूर को टिकट दिया है.
बरेली में बीजेपी प्रत्याशी संतोष गंगवार आठवीं बार सांसद बनने की उम्मीद कर रहे हैं. उनका मुकाबला कांग्रेस के पूर्व सांसद प्रवीण सिंह ऐरन और गठबंधन (सपा-बसपा-आरएलडी) के प्रत्याशी एवं प्रदेश के पूर्व मंत्री भगवत सरन गंगवार से है.
वर्ष 2014 में सुलतानपुर से सांसद चुने गये वरुण गांधी इस बार पीलीभीत से बीजेपी के प्रत्याशी हैं. उनका मुख्य मुकाबला गठबंधन प्रत्याशी पूर्व मंत्री हेमराज वर्मा से है. कांग्रेस ने यह सीट गठजोड़ के तहत ‘अपना दल’ को दी है, जिसने सुरेन्द्र गुप्ता को मैदान में उतारा है.
बदायूं में मौजूदा सपा सांसद धर्मेन्द्र यादव का मुख्य मुकाबला राज्य के श्रम मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य की बेटी एवं बीजेपी प्रत्याशी संघमित्रा मौर्य से है. कांग्रेस की ओर से पांच बार के सांसद पूर्व केन्द्रीय मंत्री सलीम शेरवानी भी चुनाव मैदान में हैं.
सम्भल में गठबंधन प्रत्याशी एवं पूर्व सांसद शफीकुर्रहमान बर्क़, बीजेपी प्रत्याशी परमेश्वर लाल सैनी और कांग्रेस उम्मीदवार एवं पूर्व विधायक मेजर जगतपाल सिंह के बीच मुख्य मुकाबला है.
एटा में प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री कल्याण सिंह के बेटे एवं मौजूदा सांसद, बीजेपी प्रत्याशी राजवीर सिंह को गठबंधन प्रत्याशी एवं दो बार के सांसद देवेन्द्र सिंह यादव और कांग्रेस उम्मीदवार पूर्व मंत्री सूरज सिंह शाक्य चुनौती दे रहे हैं.
मुरादाबाद में बीजेपी के मौजूदा सांसद सर्वेश सिंह एक बार फिर चुनाव मैदान में हैं. उनका मुख्य मुकाबला सपा उम्मीदवार एस. टी. हसन और कांग्रेस प्रत्याशी इमरान प्रतापगढ़ी से है. आंवला सीट पर बीजेपी के मौजूदा सांसद धर्मेन्द्र कश्यप फिर से चुनाव लड़ रहे हैं. गठबंधन ने यहां से पूर्व विधायक रुचिवीरा को मैदान में उतारा है जबकि कांग्रेस ने तीन बार सांसद रह चुके कुंवर सर्वराज को प्रत्याशी बनाया है.
तीसरे चरण में 10 सीटों पर मुख्य मुकाबला ‘‘सपा-बसपा-आरएलडी’’ गठबंधन और बीजेपी के बीच ही होता दिख रहा है. मगर, कुछ सीटों पर कांग्रेस और प्रगतिशील समाजवादी पार्टी-लोहिया मुकाबले को त्रिकोणीय बनाती दिख रही हैं.
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