Maharashtra CM News: महाराष्ट्र में काफी खींचतान के बाद आज यानी 4 दिसंबर 2024 की शाम तक मुख्यमंत्री पद को लेकर स्थिति साफ हो जाएगी. मुंबई में थोड़ी ही देर में बीजेपी विधायक दल की बैठक होने वाली है, जिसमें केंद्रीय पर्यवेक्षक विधायकों से बातचीत कर सीएम के नाम का ऐलान करेंगे.


मुंबई के आजाद मैदान में गुरुवार (5 दिसंबर 2024) को महाराष्ट्र की नई सरकार का शपथ ग्रहण होगा, जिसे लेकर सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए हैं. बीजेपी विधायक दल की बैठक के बाद ही मंत्रालयों के बंटवारों को अंतिर रूप दिया जाएगा. ऐसे में बड़ा सवाल ये है कि आखिर बीजेपी को सीएम पद के बदले क्या-क्या कुर्बानियां देनी होगी.


अजित पवार गुट ने किया बीजेपी का समर्थन


 मुंबई में बीजेपी की बैठक से पहले नई सरकार में बीजेपी, शिवसेना और एनसीपी कोटे से कितने-कितने मंत्री होंगे, इसे लेकर अलग-अलग दावे किए जा रहे हैं. 23 नवंबर 2024 को आए महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के नतीजे के बाद महायुति के भीतर नई सरकार में हिस्सेदारी को लेकर काफी बवाल हो रहा है. इसे लेकर देवेंद्र फडणवीस, एकनाथ शिंदे, अजित पवार कई बार दिल्ली का दौरा भी कर चुके हैं. बताया जा रहा है कि अजित पवार के गुट ने सीएम पद को लेकर बीजेपी का समर्थन किया, जिसके बाद शिवसेना (शिंदे गुट) कमजोर पड़ गई. ऐसे में अब शिवसेना का पूरा फोकस बड़े मंत्रालयों पर है.


इस बार महाराष्ट्र चुनाव में महायुति को प्रचंड बहुमत मिली है. बीजेपी महायुति से किसी भी तरह मनमुटाव नहीं चाहने के साथ-साथ यह भी संदेश देना चाहती है कि सीएम पद और मंत्रालयों का बंटवारा अपनी सहमति से हुआ है. हालांकि एकनाथ शिंदे और अजित पवार यह कह चुके हैं कि वे बीजेपी हाईकमान के फैसले के साथ हैं.


बीजेपी को देनी होगी कुर्बानियां


बताया जा रहा है कि नई सरकार में बीजेपी करीब 22 मंत्रालय का दावा कर रही है. बीजेपी गृह मंत्रालय भी अपने पास रखना चाहती है. वहीं शिवसेना 12 मंत्रालय अपने पास रखना चाहती है. पिछली सरकार में जब शिंदे सीएम बने थे तो उस समय गृह विभाग बीजेपी के पास था. शिवसेना गुट इसी फॉर्मूले को फिर से अपनाकर गृह विभाग का दावा ठोक रही है. शिंदे की शिवसेना को शहरी विकास मंत्रालय मिल सकता है.


वित्त विभाग अजित पवार को मिल सकता है


महाराष्ट्र की सरकार में जब अजित पवार शामिल हुए थे तो बीजेपी-शिवसेना को कई बड़े मंत्रालय छोड़ने पड़े थे. एनसीपी कोटे से अजित पवार खुद वित्त मंत्री बने थे. इस बार भी उनका वित्त मंत्रालय लेने पर फोकस है. बताया जा रहा है कि राज्य की नई सरकार में एनसीपी के 10 मंत्री बनाए जा सकते हैं. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक विधानसभा स्पीकर और विधान परिषद के चेयरमैन पर पद भी एनसीपी को मिल सकता है. 


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