Rajasthan Assembly Election 2023: संसद के विशेष सत्र के दूसरे दिन महिला आरक्षण बिल लोकसभा में पेश किया गया. महिलाओं के लिए संसद और विधानसभाओं में 33 प्रतिशत आरक्षण सुनिश्चित करने वाला नारी शक्ति वंदन अधिनियम अगर लोकसभा और राज्यसभा में पास हो जाता है तो आगे जाकर कई राज्यों की विधानसभाओं में तस्वीर पूरी तरह से बदल जाएगी.
ऐसा ही एक राज्य है राजस्थान, जहां फिलहाल सबकी नजर है. इस साल के अंत में जिन पांच राज्यों में विधानसभा चुनाव होने हैं, उनमें राजस्थान भी है. हालांकि अगर ये बिल पास हो भी जाता है तो भी 2024 चुनाव से लागू होने की उम्मीद नहीं है. फिर भी इससे आगे के चुनाव में सीटों की स्थिति बदल जाएगी. आइए जानते हैं क्या होगी राजस्थान विधानसभा में सीटों की स्थिति.
दोगुने से ज्यादा होगी संख्या
राजस्थान विधानसभा में कुल 200 सीटें हैं. महिला आरक्षण बिल पास होने के बाद सदन में 66 महिला विधायक अनिवार्य रूप से होंगी. फिलहाल राजस्थान विधानसभा में 27 महिला विधायक हैं. यानी आरक्षण के बाद महिला विधायकों की संख्या 27 से सीधे 66 होगी, जो दोगुने से भी ज्यादा है.
पहली विधानसभा में 7 महिला विधायक
बात अगर राजस्थान की पहली विधानसभा की करें तो 1952 में हुए चुनाव में कुल 7 महिला विधायक चुनी गई थीं. 2018 में हुए विधानसभा चुनाव में 27 महिलाएं जीत कर सदन में पहुंचीं. 33 फीसदी आरक्षण के बाद स्थिति और बेहतर हो जाएगी. महिला विधायकों की संख्या कम से कम 66 तो जरूर रहेगी.
सांसदों की संख्या में भी होगा सुधार
वहीं राजस्थान से महिला सांसदों की संख्या देंखें तो अभी तीन महिला सांसद राज्य से हैं. 2019 में ये तीनों ही बीजेपी के टिकट पर जीकर लोकसभा तक पहुंची थीं. राजस्थान में लोकसभा की कुल 25 और राज्यसभा की 10 सीटें हैं. राज्यसभा में यहां से कोई भी महिला सांसद नहीं है. 33 प्रतिशत आरक्षण लागू होने के बाद 8-9 लोकसभा सीटें महिलाओं के लिए रिजर्व होंगी. ऐसे में यहां भी काफी बेहतर स्थिति होगी.
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