Rajasthan Election 2023: राजस्थान में आज से ठीक 12 दिनों के बाद यानी 25 नवंबर को विधानसभा चुनाव होने वाले हैं, जिसके नतीजे अगले महीने 3 दिसंबर को घोषित होंगे. इस चुनावी दंगल में देश की दो राष्ट्रीय पार्टियों बीजेपी और कांग्रेस के बीच कांटे की टक्कर देखने को मिल सकती है. इस बीच राजस्थान में बीजेपी और कांग्रेस के कई नेताओं ने बगावती तेवर अपना लिए हैं.
इन बागी नेताओं को मनाने के लिए दोनों पार्टियों ने एड़ी-चोटी का जोर लगाया हुआ है. हालांकि, कई नेताओं ने पार्टी की एक भी नहीं सुनी और निर्दलीय उम्मीदवार के तौर पर चुनाव में भाग्य आजमाने सियासी समर में उतर गए हैं. इनमें आलोक बेनीवाल, हबीबुर्रहमान और दुर्ग सिंह चौहान शामिल है. इनकी तरह और कई नेता भी हैं, जो कुल 23 सीटों से चुनाव लड़कर कांग्रेस के लिए मुसीबत बने हुए हैं.
कांग्रेस के बागी नेता
वीरेंद्र बेनीवाल (लूणकरणसर): कांग्रेस ने कई बागियों को मनाने कि भरपूर कोशिश की, लेकिन कई लोगों को मनाने में कामयाब नहीं रही, जिसके बाद उन्होंने निर्दलीय सीट से चुनाव लड़ने का फैसला लिया. इनमें लूणकरणसर से वीरेंद्र बेनीवाल है. ये पहले कांग्रेस की तरफ से पिछली बार चुनाव लड़ा था, लेकिन वो बीजेपी के सुमित गोदार से हार गए थे. आपको बता दें कि लूणकरणसर जाट बाहुल्य इलाका है.
रामलाल मेघवाल (जालोर): जालोर विधानसभा सीट से कांग्रेस पार्टी से निकाले जाने के बाद पूर्व विधायक रामलाल मेघवाल ने खुलेआम बगावत कर दी थी. उन्होंने निर्दलीय नामांकन दाखिल किया है. वो कांग्रेस के लिए मुख्य चुनौती बनने की आशंका है. उन्होंने नामांकन दाखिल करते हुए कहा था कि मैं कांग्रेस से बागी नहीं हूं, कांग्रेस मेरे से बागी हुई है.
सुनील परिहार (सिवाना): जोधपुर से कांग्रेस के दिग्गज नेता और मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के करीबी राजनेता में से एक पूर्व अध्यक्ष सुनील परिहार को इस बार कांग्रेस ने टिकट नहीं दिया. इसके बाद उन्होंने निर्दलीय सीट से चुनाव लड़ने का फैसला लिया है. कांग्रेस ने सिवाना से वर्तमान विधायक और पूर्व मंत्री अमीन खान पर लगातार 10वीं बार भरोसा जताते हुए टिकट दिया है.
डॉ. श्रीगोपाल बाहेती (पुष्कर): पुष्कर से डॉ. श्रीगोपाल बाहेती ने बीते 6 नवंबर को निर्दलीय सीट से चुनाव लड़ने का फैसला लेते हुए नामांकन भरा था. इसकी वजह से वो कांग्रेस प्रत्याशी के लिए मुश्किलें बढ़ाने का काम कर सकते हैं. इस बार कांग्रेस ने पुष्कर से प्रदेश कांग्रेस उपाध्यक्ष नसीम अख्तर टिकट दिया है. इस फैसले के बाद डॉ. श्रीगोपाल बाहेती बहुत नाराज हुए थे.न्होंने पार्टी की निर्णय प्राधिकृति का उल्लंघन मानते हुए अपने टिकट की मांग की थी. हालांकि, उन्हें कोई सफलता हासिल नहीं हुई थी.
कांग्रेस के खिलाफ मुसीबत बने निर्दलीय उम्मीदवार
- आलोक बेनीवाल (शाहपुरा )
- लच्छाराम बडारडा (परबतसर),
- मनोज चौहान (ब्यावर)
- गोपाल गुर्जर ( मालपुरा)
- ओम बिश्नोई (सादुलशहर)
- करुणा चांडक (गंगानगर)
- कैलाश मीणा (मनोहर थाना)
- रामनिवास गोयल (महुआ)
- राकेश बोयत (केशोरायपाटन)
- अजीजुद्दीन आजाद (सवाई माधोपुर)
- राजकरण चौधरी (सरदारशहर)
- देवराम रोत (डूंगरपुर)
- हबीबुर्रहमान (नागौर)
- दुर्ग सिंह चौहान (खींवसर)
- नरेश मीणा (छबड़ा)
- लाल बैरवा (बसेड़ी)
- जौहरी लाल मीणा (राजगढ़ लक्ष्मणगढ़)
- फतेह खान (शिव)
- महेन्द्र बरजोड (चौरासी)