नई दिल्ली: जबसे लोकसभा चुनाव के नतीजें आए हैं, तभी से कांग्रेस की सरकार वाले राज्यों मध्य प्रदेश, राजस्थान और कर्नाटक में सियासी बवाल मचा हुआ है. इन तीन राज्यों से हर दिन सियासी उठा-पटक की खबरें आ रही हैं. जहां मध्य प्रदेश और कर्नाटक में विधायकों की खरीद फरोख्त का मुद्दा एक बार फिर गरमाने लगा है तो वहीं राजस्थान में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की कुर्सी पर भी काले बादल मंडराने लगे हैं. जानें इन तीन राज्यों में ऐसा क्या हो रहा है, जिससे कांग्रेस की चिंता बढ़ गई है.
मध्य प्रदेश
मध्य प्रदेश में कमलनाथ के नेतृत्व वाली कांग्रेस की सरकार निर्दलीय, बसपा और सपा के विधायकों के समर्थन से चल रही है. 230 सदस्यीय राज्य विधानसभा में कांग्रेस के 114 और बीजेपी के 109 विधायक हैं. हाल ही में प्रदेश के नेता प्रतिपक्ष गोपाल भार्गव ने विधानसभा का सत्र बुलाए जाने की मांग की थी और दावा किया था कि कमलनाथ सरकार अल्पमत में है. वहीं, कल बसपा की विधायक राम बाई ने बीजेपी पर खरीद-फरोख्त का आरोप लगाया है. राम बाई ने कहा है कि बीजेपी की ओर से मंत्री पद और 50 करोड़ रुपये तक दिए जाने का ऑफर आया है. हालांकि सीएम कमलनाथ कह चुके हैं कि प्रदेश की कांग्रेस सरकार को कोई खतरा नहीं है. अब हो जाए फ्लोर टेस्ट, हम तैयार हैं.
मध्य प्रदेश की राजनीति में उथल-पुथल, BSP विधायक बोलीं- BJP ने दिया मंत्री पद और 50 करोड़ का ऑफर
राजस्थान
राजस्थान में पिछले साल के आखिरी में हुए विधानसभा चुनाव में जीत के साथ वापसी करने वाली कांग्रेस सूबे में खाता खोलने में भी असफल रही है. पिछले दिनों कांग्रेस कार्यसमिति (CWC) की बैठक में राहुल गांधी ने बेटे वैभव गहलोत को टिकट दिलाने को लेकर अशोक गहलोत पर सवाल उठाए. उसके बाद राजस्थान कांग्रेस के नेताओं ने भी गहलोत की मुश्किलें बढ़ा दी है. कई मंत्रियों और विधायकों ने मांग की है कि इस चुनावी शिकस्त के लिए जवाबदेही तय करने के साथ कार्रवाई होनी चाहिए.
गहलोत के बेटे वैभव गहलोत जोधपुर से चुनाव लड़े थे और उन्हें हार का सामना करना पड़ा. जबकि गहलोत जोधपुर में अपने बेटे के पक्ष में प्रचार के लिए कई दिनों तक डंटे रहे थे. उन्होंने 130 सभाएं की जिसमें से 93 सिर्फ अपने बेटे के समर्थन में की. सूत्रों के मुताबिक, इन्हीं वजहों से राहुल गांधी अशोक गहलोत से नाराज़ चल रहे हैं. खबर है कि राजस्थान में अब बड़े बदलाव देखने को मिल सकते हैं. आज गहलोत और सचिन पायल दिल्ली में डटे हुए हैं.
खतरे में कुर्सी अशोक गहलोत की कुर्सी, राजस्थान में 130 रैलियों में से 93 सिर्फ बेटे के समर्थन में की, राहुल गांधी नाराज
कर्नाटक
दक्षिण राज्य कर्नाटक में कांग्रेस-जेडीएस की साझा सरकार पर भी संकट के बादल मंडरा रहे हैं. यहां पर बीजेपी नेता बीएस येदुरप्पा ने दावा किया है कि कांग्रेस-जेडीएस सरकार अल्पमत में है और राज्य में नए सिरे से विधानसभा चुनाव कराए जाएं. वहीं, राज्य में कई विधायकों के बीजेपी के संपर्क में होने की खबरें हैं. जिसके बाद कांग्रेस अपने विधायकों को बचाने में जुट गई है. कांग्रेस ने 29 मई शाम 6 बजे राजधानी बेंगलुरु में अपने विधायक दल की बैठक बुलाई है. कांग्रेस के इस कदम के बाद एक बार फिर रिसॉर्ट पॉलिटिक्स की संभावनाएं देखने को मिल सकती हैं. कांग्रेस विधायक दल की बैठक ऐसे समय में हो रही है जब पार्टी के अंदर असंतोष गहरा रहा है.
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एबीपी न्यूज़
Updated at:
28 May 2019 01:26 PM (IST)
जहां मध्य प्रदेश और कर्नाटक में विधायकों की खरीद फरोख्त का मुद्दा एक बार फिर गरमाने लगा है तो वहीं राजस्थान में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की कुर्सी पर भी काले बादल मंडराने लगे हैं.
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