नई दिल्ली: लोकसभा चुनाव नतीजों के बाद विपक्षी खेमे में हार के साइड इफेक्ट नजर आने लगे हैं. विपक्षी पार्टियों में हड़बड़ी की आलम ये कि अब पार्टी में टूट शुरू हो गई है. आज बंगाल में सत्ताधारी टीएमसी को बड़ा झटका लगा. टीएमसी के दो विधायक ममता बनर्जी का साथ छोड़ बीजेपी के रथ पर सवार हो गए. इनमें बंगाल के बड़े नेता मुकुल रॉय के बेटे शुभ्रांशु रॉय भी शामिल हैं, इसके साथ ही सीपीएम के भी एक विधायक ने  बीजेपी का दामन थाम लिया. इसके साथ ही करीब 50 से ज्यादा टीएमसी पार्षद भी बीजेपी मुख्यालय में पार्टी में शामिल हो गए.


बीजेपी के मीडिया प्रभारी और राज्यसभा सांसद अनिल बलूनी ने कहा, ''बंगाल के बहुत सारे नेता बीजेपी परिवार में जुड़ रहे हैं, आज बंगाल से तीन विधायक हम लोगों के साथ जुड़ रहे हैं. टीएमसी के शुभ्रांशु रॉय, तुषार कांति भट्टाचार्य और सीपीएम के विधायक देवेंद्र रॉय बीजेपी ज्वाइन कर रहे हैं.'' इस दौरान बीजेपी के बंगाल प्रभारी कैलाश विजयवर्गीय भी इस दौरान मौजूद रहे.





कैलाश विजयवर्गीय ने कहा, ''प्रधानमंत्री ने बंगाल की रैली में कहा था कि 40 टीएमसी विधायक हमारे संपर्क में हैं, आज तीन विधायक और 50 से ज्यादा पार्षदों ने बीजेपी ज्वाइन की है. हम टीएमसी विधायकों की बीजेपी में ज्वाइनिंग अगले महीने से शुरू करेंगे. यह लोकसभा चुनाव की तरह सात चरणों में होगा. जो लोग टीएमसी में घुटा हुआ महसूस कर रहे हैं, चुनाव हम करेंगे कि किसे लेना है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से प्रभावित होकर लोग भाजपा में आ रहे हैं लेकिन उन्हीं को लिया जाएगा जो बीजेपी में आने योग्य होंगे.''


टीएमसी नाराज नेताओं से साध रही संपर्क
लोकसभा चुनाव में उम्मीद मुताबिक परिणाम नहीं आने के बाद तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) अपने नाराज नेताओं से संपर्क साध रही है. टीएमसी को उम्मीद है कि इस फायदा आगामी विधानसभा चुनाव में मिलेगा. पार्टी के एक वरिष्ठ नेता ने बताया, ''हम ऐसा नेताओं और कार्यकर्ताओं तक पहुंच रहे हैं, जो कुछ कारणों से निष्क्रिय हो गए हैं. हम हर किसी को पार्टी में वापस लाने की कोशिश कर रहे हैं.''


पश्चिम बंगाल लोकसभा चुनाव परिणाम
लोकसभा चुनाव में पश्चिम बंगाल में टीएमसी को 22, बीजेपी को 18 और कांग्रेस को दो सीटें मिली है. वहीं वोट प्रतिशत देखें तो टीएमसी को 43.3 प्रतिशत, बीजेपी को 40.3 प्रतिशत और कांग्रेस को 5.6 प्रतिशत वोट मिले हैं. 2014 के लोकसभा चुनाव में कुल 42 सीटों में बीजेपी को मात्र दो सीटें मिली थी. टीएमसी ने 34 और कांग्रेस ने चार सीटों पर सफलता हासिल की थी.