Tripura Vidhan Sabha Chunav 2023: त्रिपुरा में चुनावी शंखनाद के बाद सभी पार्टियों का प्रचार पूरे जोर पर है. बीजेपी सत्ता बचाने के लिए कोई कसर नहीं छोड़ रही है तो वहीं लेफ्ट एक बार फिर से अपना गढ़ वापस लेने की फिराक में है. कांग्रेस की कोशिश शून्य से अपना नंबर बढ़ाने को लेकर है. इस बार का त्रिपुरा चुनाव कई मायनों में अलग हैं. कांग्रेस ने लेफ्ट के साथ गठबंधन में चुनाव में उतरने का फैसला किया है. इसके साथ ही टिपरा मोथा की एंट्री ने भी चुनाव दिलचस्प बना दिया है.


त्रिपुरा चुनाव में लेफ्ट के नेतृत्व वाले गठबंधन में कांग्रेस को सिर्फ 13 सीटें मिली हैं. पार्टी को उम्मीद है कि वह इस बार पिछला प्रदर्शन नहीं दोहराएगी. 2018 में हुए पिछले विधानसभा चुनाव में कांग्रेस का खाता भी नहीं खुला था. हालांकि, बीते साल सुदीप रॉय बर्मन के बीजेपी छोड़कर कांग्रेस में शामिल होने के बाद उपचुनाव में एक सीट पार्टी के खाते में आई थी. सुदीप रॉय बर्मन इस बार भी पार्टी के प्रत्याशी हैं.


कांग्रेस के लिए इस बार अच्छी बात ये है कि उसके खाते में जो 13 सीटें आई हैं. उनमें 5 सीटें ऐसी हैं जहां 2018 में पार्टी 5 हजार या फिर इससे कम वोटों के अंतर से हारी थी. हालांकि, 13 सीटों पर उसका फोकस है, लेकिन इन 5 सीटों पर विशेष ध्यान दे रही है. गठबंधन में होने के बाद पार्टी इन सीटों पर किसी भी कीमत पर कोई चूक नहीं करना चाहती है. आइए इन सीटों पर नजर डालते हैं. 


दो सीटें दो हजार से कम के अंतर से
कांग्रेस के खाते में जो 13 सीटें आई हैं उनमें पेंचारथल सीट शामिल है. यहां पिछली बार कांग्रेस सिर्फ 1373 वोटों के अंतर से चुनाव हार गई थी. इस बार पार्टी ने यहां साधन कुमार चकमा को उम्मीदवार बनाया है.


इसके अलावा माताबरी सीट है जहां 2018 में कांग्रेस 1569 वोट से चूक गई थी. इस बार यहां पार्टी ने प्रणजीत राय को प्रत्याशी बनाया है. कमालपुर सीट 2018 में 2918 अंतर से कांग्रेस हारी थी. इस बार पार्टी ने रूबी गोप को प्रत्याशी बनाया है.


यहां रहा 5 हजार से कम अंतर
कैलाशहर विधानसभा भी उन सीटों में है, जहां कांग्रेस 5 हजार से कम वोट के अंतर से हारी थी. 2018 में यहां हार का अंतर 4834 था. कांग्रेस ने इस बार यहां बिराजित सिन्हा को मैदान में उतारा है. उनका मुकाबला बीजेपी के मोहम्मद मोबेशर अली है. मोबेशर अली बीजेपी के उन दो मुस्लिम प्रत्याशियों में है, जिन पर बीजेपी ने दांव लगाया है.


5 हजार से अंतर से हारने वाली एक और सीट सुरजामणिनगर है. यह सीट कांग्रेस 4567 वोटों के अंतर से हारी थी. यहां इस बार पार्टी ने सुशांत चक्रवर्ती पर दांव लगाया है. उनके सामने बीजेपी के राम प्रसाद पाल मैदान में हैं.


बाकी 8 सीटों पर क्या रहे थे नतीजे?
इन पांच सीटों के अलावा मोहनपुर सीट कांग्रेस के पास है, जहां वह पिछली बार 5176 वोट से हारी थी. इसके अलावा अगरतला सीट 7382 वोट, टाउन बोर्दोवली 11178 वोट, बनमालीपुर 9549 वोट, चरीलम 25,550 वोट, तेलियामौरा 7179 वोट, करमचेरा 7336 वोट और धर्मानगर 7287 वोट से हारी थी.


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