Punjab Assembly Election 2022: पंजाब के मालवा में विधानसभा की 69 सीट है. पिछली बार कांग्रेस 40 सीटें जीती थी. इस बार कांग्रेस की मालवा में इतनी सीटें आती नहीं दिख रही, क्योंकि इस बार वहां आम आदमी पार्टी की हवा है. कांग्रेस चन्नी को मालवा की भदौड़ सीट से उताकर आम आदमी पार्टी की हवा का रुख बदलने की फिराक में है. सिद्धू और चन्नी में कौन होगा सीएम का चेहरा? चन्नी पंजाब में कांग्रेस का सीएम पद का चेहरा हो सकते हैं. यह संकेत चन्नी को दो सीटों से लड़ाकर कांग्रेस ने दिया है. चन्नी चेहरा होंगे और उनकी जीत सुनिश्चित करना पार्टी के लिए जरुरी है. कांग्रेस को उम्मीद है कि चन्नी के सीएम पद का चेहरा होने से दलित वोट पोलोराइज करने में मदद मिल सकती है. ऐसे में चन्नी के कंधो पर यह बोझ भी आन पड़ा है.
चन्नी रैलियों में भी जनता से कह चुके हैं कि मुझे गोद ले लो. 20 दिन मुझे दे दो मैं आपको पांच साल दूंगा. चन्नी कांग्रेस के इकलौते ऐसे लीडर हैं, जो दो सीटों से चुनाव लड़ रहे हैं. भदौड़ सीट कोई नामी सीट नहीं है और न ही कोई नामी लीडर ही यहां से चुनावी मैदान में है. ऐसे में सवाल ये उठ रहा है कि क्या चमकौर साहब से चन्नी की जीत पक्की नहीं मानी जा रही है, जिसकी वजह से उनके लिए एक सुरक्षित सीट की तलाश की गई है.
पंजाब कांग्रेस के कई नेता चन्नी के चुनाव को राहुल गांधी के अमेठी और वायनाड से एक साथ लड़ने के फॉर्मूले से जोड़कर देख रहे हैं. चन्नी ने कहा है कि अगर मैं जीता तो भदौड़ सीट अपने पास रखूंगा. भदौड़ सीट पर भी चन्नी के लिए जीत की राह आसान नहीं है. भदौड़ हलका आम आदमी पार्टी के सांसद और सीएम पद का चेहरा भगवंत मान के संसदीय क्षेत्र संगरुर में आता है. 2019 के लोकसभा चुनाव में आम आदमी पार्टी ने जिन विधानसभा हलकों में अच्छा प्रदर्शन किया था, उनमें भदौड़ भी शामिल है. भदौड़ सीट पर 2017 में आम आदमी पार्टी के पिरमिल सिंह विधायक भी बने थे.
इस सीट पर आप वोटर्स का दबदबा है. कांग्रेस के लिए 2012 में गायक मोहमद सदीक ने यह सीट जीती थी. कांग्रेस का इस सीट पर प्रदर्शन वैसे भी बहुत खास नहीं रहा है. भगवंत मान कह चुके हैं कि भदौड़ से चन्नी की जमानत भी जब्त हो जाएगी. चन्नी मालवा में आम आदमी पार्टी के गढ़ में उतरे हैं. कांग्रेस अगर चन्नी को सीएम पद का चेहरा बनाती है तो इस रीजन में उन पर 60 सीटें जीतने का दबाव होगा, वर्ना कांग्रेस का सरकार बनाने का प्लान बी फेल हो जाएगा.
प्लान बी क्या है
अगर पंजाब में कांग्रेस को स्पष्ट बहुमत नहीं मिलता है और त्रिशंकू विधानसभा के हालात पैदा होते हैं तो सरकार बनाने के लिए आम आदमी पार्टी और कांग्रेस के बीच गठजोड़ हो सकता है. चन्नी के चेहरे पर ये गठजोड़ इसलिए नहीं होगा, क्योंकि आम आदमी पार्टी चन्नी पर माइनिंग को लेकर बड़े आरोप लगा रही है. राज्यपाल से मिलकर चन्नी की शिकायत कर रही है. चन्नी पर भ्रष्टाचारी होने के सीधे आरोप आप लगा रही है. ऐसे में चन्नी के साथ गठजोड़ होने की संभावना न के बराबर है. नवजोत सिंह सिद्धू के चेहरे के साथ सरकार बनाने में शायद आप को उतनी दिक्कत न हो जितनी चन्नी के साथ हो सकती है. त्रिशंकु विधानसभा की स्थिति में भगवंत मान और सिद्दू का याराना भी काम आ सकता है. आम आदमी पार्टी को सिद्धू के अंदाज़ से प्रॉब्लम हो सकती है, पर उनकी ईमानदारी पर नहीं.
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