नई दिल्ली: बॉलीवुड के मिस्टर परफेक्शनिस्ट आमिर खान और आलिया भट्ट ने आज लेबर डे पर महाराष्ट्र के मराठवाड़ा गांव में जाकर श्रम दान किया. आमिर कई सालों से 'पानी फाउंडेशन' के माध्यम से महाराष्ट्र को सूखा-मुक्त राज्य बनाने के लिए काम कर रहे हैं. आज इसी क्रम में आमिर खान के साथ अभिनेत्री आलिया भट्ट भी पहुंचीं और गांव में फावड़ा चलाती दिखीं. सोशल मीडिया पर इन दोनों सितारों की ये तस्वीरें देखने को मिली हैं.



बता दें कि पानी फाउंडेशन एक एनजीओ है, जिसका गठन 2016 में हुआ था. टीवी सीरिज 'सत्यमेव जयते' की टीम ने महराष्ट्र के ग्रामीण इलाकों में पानी की समस्या से निपटने के लिए इसका गठन किया था. आमिर खान अक्सर ही सोशल मीडिाय के जरिए लोगों से इससे जड़ने की अपील करते हैं.

हाल ही में आमिर खान ने सोशल मीडिया पर एक वीडियो जारी किया था. आमिर खान ने सभी से अपील करते हुए कहा, "आपने आखिरी बार कब धरती की सोंधी खुशबू की महक ली थी? आखिरी बार कब आप देश से बाहर थे और बालों को छूती हुई ताजा हवा को महसूस किया था? पिछली बार आपने कब गांव में रहने वाले शख्स को अपना दोस्त बनाया था? पानी फाउंडेशन की तरफ से मैं आपको महाराष्ट्र के पानी को प्रचुर मात्रा में बनाने के प्रयास में एक स्वयंसेवक बनने के लिए आमंत्रित करता हूं. आओ, जलमित्र बनें, गांवों में काम करें, श्रमदान करें, गांव की मदद करें, और मैं आपको आश्वासन देता हूं कि दिन के अंत तक आपको यह आभास होगा कि आपने गांव की मदद नहीं की, बल्कि गांव ने आपकी मदद की है."

आज आमिर खान के इस पहल को आलिया का भी साथ मिला. आलिया इन दिनों फिल्म कंलक की शूटिंग कर रही हैं. कल सोशल मीडिया के जरिए आलिया ने बताया था कि आज वो कुछ खास करने वाली हैं. आज आलिया ने अपने सोशल मीडिया पर ये तस्वीरें भी शेयर की हैं.



कुछ समय पहले इस पहल के बारे में  बात करते हुए आमिर ने कहा कि ग्रामीणों तक पहुंच बनाना सबसे बड़ी समस्या है. मीडिया को संबोधित करते हुए कहा, "हमें पता है कि हमारे रास्ते में बहुत-सी समस्याएं आएंगी, इसलिए हमने इन बाधाओं से पार पाने के लिए पूरे कार्यक्रम को उस तरीके से ही तैयार किया है. लोगों को एक काम के लिए साथ लाना एक सबसे बड़ी चुनौती है." उन्होंने कहा, "देखिए हमारा समाज कई स्तरों पर बंटा हुआ है. प्रत्येक गांव में विभिन्न राजनीतिक दल हैं और गांवों में जाति व्यवस्था बहुत मजबूत है. यहां जमींदार, श्रमिक विभिन्न आर्थिक पृष्ठभूमि से आते हैं. सभी को मनाना कि कैसे जल सरंक्षण प्रबंधन वास्तव में हमारी मदद कर सकता है, यह अपने आप में मुश्किल काम है। लेकिन सबसे अच्छी बात यह है कि इस मुद्दे से पार पाने के लिए ग्रामीण एक-दूसरे की मदद करते हैं."



आमिर ने कहा, "जब वह जल संरक्षण प्रबंधन प्रणाली के निर्माण के लिए साथ आएंगे तो उनके बीच एक मानवीय पहलू का विकास होगा. यह एक अलग तरह का भावनात्मक जुड़ाव है और भविष्य में अगर कोई समस्या आती है तो वह उसका सामना करने के लिए पूरी तरह से प्रशिक्षित होंगे."

बता दें कि तीन तालुका से शुरुआत करने वाला पानी फाउंडेशन अब अपने कार्य को 75 तालुका तक फैला चुका है और आमिर के मुताबिक इस कार्य में महिलाएं एक सक्रिय भूमिका निभा रही हैं.