Anurag Kashyap On Nepotism: फेमस फिल्ममेकर अनुराग कश्यप इन दिनों अपनी नई फिल्म ऑलमोस्ट प्यार विद डीजे मोहब्बत के प्रमोशन में जुटे हुए हैं. इस बीच उन्होंने एक बार फिर बॉलीवुड में नेपोटिज्म (भाई-भतीजावदा) को लेकर बात की है. उनका कहना है कि नेपोटिज्म सिनेमा में हीं बल्कि हर इंडस्ट्री में है. दिक्कत तब होती है जब बिना टैलेंट वाले लोगों को बार-बार चांस मिलता है, लेकिन टैलेंटेड एक्टर्स को नहीं मिलता है.
नेपोटिज्म पर टिका है देश
बॉलीवुड हंगामा के साथ बातचीत में अनुराग कश्यप ने कहा, 'देश नेपोटिज्म पर टिका है. एक डॉक्टर हॉस्पिटल खोलता है और कई डॉक्टर्स को हायर करता है. वह अपने बेटे को भी डॉक्टर की ट्रेनिंग देता है और फिर उसे हॉस्पिटल देता है. कोई भी दुकानदार कर्मचारी को दुकान नहीं सौंपता है. जब उसका बेटा बड़ा हो जाता है तो वह उसे देता है. तब आप इसे नेपोटिज्म क्यों नहीं कहते हैं? हमारे बेटे प्रिविलेज्ड हैं क्योंकि हमने कड़ी मेहनत की है. जो चीज हमें नहीं मिली, हमने उन्हें दिया है. उसके बाद अब बच्चों की चॉइस है'.
कई सारे लोग फिल्मों में नहीं आना चाहते
अनुराग कश्यप ने आगे कहा, 'कई सारे लोग फिल्मों में नहीं आना चाहते हैं. मेरे भाई और बहन ने फिल्मों में एंट्री की, लेकिन उन्होंने इंडिपेंडेंटली फिल्में बनाई हैं. उन्होंने मेरे साथ फिल्में नहीं बनाई. देव डी और गैंग्स ऑफ वासेपुर में मेरी बहन ने मुझे असिस्ट किया था. मालूम हो कि अनुराग कश्यप के भाई अभिनव कश्यप 'दबंग' और 'बेशरम' जैसी फिल्मों का डायरेक्शन कर चुके हैं. वहीं, बहन अनुभूति कश्यप ने पिछले साल आयुष्मान खुराना की मूवी डॉक्टर जी का निर्देशन किया था.'
अच्छे एक्टर्स को नहीं मिलता मौका
अनुराग का कहना है कि फिल्मी फैमिली से आने वाले कई सफल एक्टर्स को अपने टैलेंट के कारण कभी किसी आलोचना का सामना नहीं करना पड़ा. उन्होंने कहा, 'कई सारे लोग प्रिविलेज्ड हैं. यहां तक कि रणबीर कपूर और ऋतिक भी. किसी ने उन्हें कुछ क्यों नहीं कहा? किसी ने कुछ भी नहीं कहा क्योंकि उनके पास टैलेंट है, जो दिखता है. दिक्कत तब होती है जब किसी के पास टैलेंट नहीं होता और उसे बार-बार मौका मिलता है. वहीं, अच्छे एक्टर्स को चांस नहीं मिलता'.
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