Atul Agnihotri Career: सलमान खान से पारिवारिक संबंध किसी को भी दौलत और शोहरत दिला सकता है और शायद ये बात एक्टर से डायरेक्टर-प्रोड्यूसर बने अतुल अग्निहोत्री पर भी लागू होती है. मगर अतुल अग्निहोत्री ने भूले बिसरे एक्टर होने के बजाए कुछ दूसरा ट्राई किया, और आज वह दौलत और शोहरत के मालिक हैं. आखिर ऐसा कैसे हुआ? आइए जानते हैं.


अतुल असल में दिल्ली से ताल्लुक रखते हैं. उनका जन्म 8 जुलाई 1970 को हुआ था. पिता रोहित अग्निहोत्री भी एक अभिनेता थे. लेकिन बॉलीवुड में उन्हें सफलता नहीं मिली. कुछ दिनों के बाद उन्होंने अभिनय छोड़ दिया.  इसके बाद उन्होंने फिल्मों के होर्डिंग्स लगाने का बिजनेस शुरू किया. अतुल ने छोटी उम्र में ही अपने पिता को खो दिया था. संसार का सारा भार उनके ऊपर आ गया. उस समय रिश्तेदार रति अग्निहोत्री कुछ दिनों के लिए मुंबई में उनके घर रहने आई थीं. वह अतुल की बड़ी बुआ हैं. रति ने अतुल के परिवार के साथ कुछ सालों से बॉलीवुड में अपना करियर शुरू किया. उन्हें देखकर अतुल को भी एक्टिंग का शौक हो गया.


इस फिल्म से किया था डेब्यू


रति की सिफारिश पर अतुल को फिल्म में पहला काम मिला. बासु चटर्जी की फिल्म में काम किया. उन्होंने मिथुन चक्रवर्ती-रति अग्निहोत्री स्टारर सुपरहिट में एक छोटी सी भूमिका निभाई. फिल्म में वे रति के भाई भी बने थे. निभाए गए किरदार का नाम 'अनिल' था. इसके बाद अतुल की एक्टिंग में दिलचस्पी बढ़ती गई. वह एक ड्रामा ग्रुप में शामिल हो गए. सुबह कॉलेज के बाद वे ड्रामा ग्रुप में एक्टिंग किया करते थे. लेकिन यह शौक ज्यादा दिन नहीं चला और परिवार का दबाव बढ़ गया.  उन्होंने अपने स्कूल के दोस्त संजय गुप्ता के संपर्क में पंकज पाराशर की कुछ फिल्मों में असिस्टेंट डायरेक्टर के रूप में काम किया.


बतौर असिस्टेंट डायरेक्टर काम करते हुए उन्हें एक्टिंग का एक बेहतरीन मौका मिला.  उस समय वह पैसे के लिए किसी भी तरह का काम करने को राजी हो जाते थे. पहली फिल्म के 10 साल बाद 1983 में उन्होंने महेश भट्ट की 'सर' में काम किया. अतुल ने अगले साल फिल्म 'आतिश' में दर्शकों का ध्यान खींचा. अतुल ने फिल्मों के अलावा विज्ञापनों में भी काम किया. एक कलर एडवरटाइजिंग के दौरान अलवीरा खान ने उनसे बात की. सलीम खान की बेटी और सलमान खान की बहन अलवीरा कमर्शियल्स में कैलास सुरेंद्रनाथ की अस्सिटेंट थीं. दोनों पहली ही बातचीत में एक दूसरे को पसंद करने लगे. उसके बाद धीरे-धीरे दोस्ती जमती गई. सलमान की 'वीरगति' में काम करते हुए अलवीरा के करीब आने का अनोखा मौका मिला. असलीरा उस वक्त अक्सर शूटिंग पर जाया करते थे. धीरे-धीरे अलवीरा से उनकी दोस्ती प्यार में बदल गई. उन्होंने 1996 में शादी कर ली.


कई फिल्मों में किया साइड रोल


हालांकि खान परिवार के दामाद होने के बावजूद अतुल की एक्टिंग की किस्मत ज्यादा नहीं बदली है. लीड एक्टर तो दूर वह साइड हीरो की भूमिका में भी में कमाल नहीं कर पाए. उन्होंने 'चाची 420', 'होते प्यार हो गया', 'कोहराम', 'हम तुम्हारे हैं सनम', 'जानी दुश्मन', 'सनम तेरी कसम' समेत कई फिल्मों में काम किया.  लेकिन लोकप्रियता हासिल नहीं कर सके.


अभिनय करने में नाकाम अतुल ने निर्देशन की ओर रुख किया. लेकिन इस बार सलमान ने उनकी काफी मदद की. उन्होंने सलमान के साथ 'दिल ने जिसे अपना कहा' का निर्देशन किया था.  लेकिन फिल्म असफल रही. 2008 में अतुल ने फिर से कोशिश की. इस बार उन्होंने 'हैलो' का निर्देशन और प्रोडक्शन किया. फिल्म से पूरा खान परिवार जुड़ा हुआ था. सलमान, सोहेल और अरबाज स्टारर यह फिल्म बॉक्स ऑफिस पर काम नहीं कर सकी.


इस फिल्म से चमकी किस्मत


इसके बाद अतुल ने सलमान की 'बॉडीगार्ड' भी बनाई.  यह फिल्म सलमान के रियल बॉडीगार्ड शेरा की जिंदगी की कहानी पर आधारित है. इस सुपरहिट फिल्म में अतुल ने पिछले सारे घाटे को मुनाफे में बदल दिया. इसके बाद उन्होंने 'ओ तेरी' को प्रोड्यूस किया. लेकिन पुलकित सम्राट की यह फिल्म बॉक्स ऑफिस पर असफल रही.  हालांकि, सलमान-कटरीना कैफ की 'भारत' को प्रोड्यूस कर अतुल को प्रोड्यूसर के तौर पर काफी मुनाफा हुआ.


प्रियंका चोपड़ा पहले 'भारत' में काम करने वाली थीं.  लेकिन बाद में उन्होंने इस फिल्म से किनारा कर लिया. एक दशक से भी ज्यादा समय से अतुल को फिल्मों में अभिनय करते नहीं देखा गया था.  हालांकि, जहां तक ​​एक अभिनेता के रूप में लोकप्रियता, पहचान और सफलता की बात है तो उन्होंने एक निर्माता के रूप में कई गुना अधिक लोकप्रियता हासिल की है. अतुल अभिनेता बनने के मोह के पीछे नहीं पड़े. जैसे-जैसे जिंदगी ने करवट ली, वैसे-वैसे अतुल ने उसे फॉलो किया. बॉलीवुड के भूले-बिसरे नायकों की सूची का हिस्सा बनने के बजाय, निर्माता ने खुद को स्थापित किया है.


यह भी पढ़ें: Ponniyin Selvan 2 LIVE: ‘पोन्नियिन सेल्वन 2’ की हुई धमाकेदार ओपनिंग, सोशल मीडिया पर जमकर हो रही फिल्म की तारीफ