मुम्बई: सुशांत सिंह राजपूत ने मुम्बई से तकरीबन 100 किलोमीटर की दूरी पर लोनावाला के अपने किराये के फार्महाउस 'हैंग आउट विला' में 2-3 महीने गुजारने की प्लानिंग कर‌ ली थी. सुशांत ने मार्च में इसके लिए तमाम तरह की तैयारियां भी कर लीं थीं. बांद्रा स्थित अपने घर से उन्होंने अनाज समेत सभी जरूरी सामान के साथ एक वैन भी फार्महाउस पर भिजवा दी थी. लेकिन जाने फिर क्या हुआ कि सुशांत ने मार्च में लॉकडाउन के ऐलान के कुछ दिन पहले बनाये गये अपने इस प्लान को कैंसिल कर दिया.


एबीपी न्यूज़ ने मुम्बई से लोनावाला में पावना झील से सटे सुशांत के फार्महाउस तक का लम्बा सफर तय किया और इस फार्महाउस के हाउस मैनेजर रहे रईस से बातचीत कर सुशांत के यहां आने-जाने और वहां बिताये गये पलों को लेकर तमाम बातचीत की.


एबीपी न्यूज़ से रईस ने कहा, "25 मार्च से देशभर में लॉकडाउन के ऐलान के कुछ ही दिन पहले सुशांत ने फार्महाउस में 2-3 महीने गुजारने और आराम फरमाने की पूरी तैयारी कर ली थी. मुम्बई से जरूरी सामान से लदा वाहन भी यहां गया और इसके अतिरिक्त मुझे बतायी गयी सभी जरूरी चीजों को स्थानीय बाजार से खरीद लिया था. सुशांत 2-3 महीने यहां रहकर फार्मिंग (खेती) भी करना चाहते थे और उससे जुड़ी तमाम चीजें भी मैंने खरीद लीं थीं." फिर क्या हुआ? एबीपी न्यूज़ के इस सवाल पर रईस कहते हैं, "सुशांत की टीम की एक शख्स‌ का मेरे फोन पर मैसेज आया कि सुशांत ने यहां आने का प्लान कैंसिल कर दिया है."


मगर ऐसा क्या हुआ कि इतनी तैयारियों के बाद भी सुशांत ने फार्महाउस पर एक साथ इतना लम्बा वक्त गुजारने के अपने फैसले को यूं ही रद्द कर‌ दिया? इसका जवाब रईस ने भी जानने की कोशिश की थी. वे कहते हैं, "पूछे जाने पर सुशांत के स्टाफ में से एक सदस्य दीपेश सावंत ने मुझे बताया कि सुशांत का कहना है कि इतने लम्बे समय तक वहां रहने‌ से वे बोर हो जाएंगे और यही वजह है कि उन्होंने फार्महाउस पर आने का अपना प्लान कैंसिल कर दिया है."


रईस बताते हैं कि आखिरी बार सुशांत फार्महाउस पर फरवरी, 2020 में आये थे और उस वक्त रिया उनके साथ नहीं आईं थीं. उनके स्टाफ में दीपेश, केशव, धीरज और सिद्धार्थ पीठानी ही आये थे. रईस ने बताया कि सुशांत रिया के साथ जनवरी महीने में यहां आये और वो आखिरी बार था जब दोनों यहां साथ पहुंचे थे.


रईस ने‌ बताया कि रिया के अलावा रिया के माता-पिता और भाई शौमिक भी एक लड़की के साथ लोनावाला के फार्महाउस पर आ चुके हैं. रईस ने एबीपी न्यूज़ से कहा, "2019 में 01 जून को रिया चक्रवर्ती का जन्मदिन इसी फार्महाउस में मनाया गया था. इस जश्न में सुशांत-रिया के अलावा रिया के मम्मी-पापा और भाई शौमिक भी वहां मौजूद थे, लेकिन उन्हें इस बात की जानकारी नहीं हैं कि शौमिक के साथ इस पार्टी में शामिल लड़की आखिर कौन थी. रईस कहते हैं कि वो उस लड़की को नहीं पहचानते थे.


रिया पर काला-जादू जैसे टोटके आजमाने के भी इल्जाम लगाये जा रहे हैं. क्या कभी इस तरह की कोई पूजा लोनावाला के फार्महाउस पर हुई थी? इस सवाल पर रईस ने एबीपी न्यूज़ से कहा, "रिया के जन्मदिन की के एक दिन बाद यानी 2 जून, 2019 में फार्महाउस में शिव की‌ एक बड़ी सी प्रतिमा की स्थापना की गयी थी और उसी से संबंधित पूजा यहां हुई थी, जिसमें सुशांत, रिया और रिया के परिवारवाले भी शामिल हुए थे. वे कहते हैं कि एक बार रिया ने उनसे कहा था कि फार्महाउस में स्थापित मूर्ति की हफ्ते में एक बार शिव की पूजा की जानी चाहिए और तब से हर हफ्ते शिव की मूर्ति की पूजा होने लगी थी. रईस कहते हैं, "इनके अलावा, कभी भी किसी तरह की पूजा यहां कभी नहीं हुई."


रईस ने कहा कि सुशांत इस फार्महाउस को खरीदने के भी इच्छुक थे और इसे खरीदने को लेकर कुछ बातें भी उन्होंने सुनी थीं, लेकिन बाद में सुशांत ने इसे क्यों नहीं खरीदा और उनके प्लान का क्या हुआ, उन्हें इसके बारे में नहीं पता है.


सुशांत ने जून 2018 में 'हैंग आउट विला' को पहली बार किराये पर लिया था. मई 2019 में एक साल पूरा होने के बाद सुशांत के एक बार फिर से एक साल के लिए फार्महाउस में रहने का अपना अनुबंध बढ़ा लिया था, जो मई 2020 में खत्म हो गया. रईस बताते हैं कि लॉकडाउन के दौरान पैदा हुई परेशानियों की वजह से सुशांत रेंट एग्रीमेंट को फिर से नहीं बढ़वा पा रहे थे. ऐसे में उन्होंने फार्महाउस के मालिक को अगस्त तक का किराया अग्रिम तौर पर दे दिया था. बताया जाता है कि सुशांत हर महीने फार्महाउस के किराये के तौर पर 2 लाख रुपये से ज्यादा चुकाया करते थे. हालांकि इस बारे में रईस ने हमसे कोई बात नहीं की.


रईस कहते हैं कि उन्होंने कभी भी सुशांत को डिप्रेशन में नहीं देखा और न ही कभी यह महसूस किया कि उन्हें किसी तरह की परेशानी है. रईस कहते हैं कि उन्हें नहीं लगता है कि सुशांत ने खुदकुशी की होगी. सीबीआई द्वारा मामले की जांच करने को लेकर भी रईस ने खुशी जताई और कहा कि इससे मामले की असलियत के सामने आने की उम्मीद बढ़ गयी है.