मुंबई: स्क्रिप्ट को फिल्म की नींव कहा जाता है. लेकिन, फिल्म निर्देशक इम्तियाज अली का कहना है कि वह अपनी फिल्मों की स्क्रिप्ट किसी खास प्रक्रिया के तहत नहीं लिखते. उनकी स्क्रिप्ट ऐसी होती है जैसे कि वह खुद के लिए नोट लिख रहे हों.


फिल्म प्रेमियों, विद्यार्थियों के लिए इम्तियाज की 'जब वी मेट', 'हाईवे' और 'तमाशा' जैसी फिल्मों की स्क्रिप्ट ऑनलाइन पढ़ने के लिए उपलब्ध है और इसे फरवरी में ऑनलाइन 'फिल्म कम्पैनियन' से डाउनलोड भी किया जा सकता है. फिल्मप्रेमी यह देख सकते हैं कि उनकी पसंदीदा फिल्में पेपर पर कैसी दिखती हैं.


फिल्म स्क्रिप्ट को साझा करने पर इम्तियाज ने कहा, "स्क्रिप्ट पढ़ना निर्देशक का महत्वपूर्ण काम है. कहानी और पर्दे के बीच का अंतर एक निर्देशक होता है. मैं फिल्म लेखन के लिए कोई प्रक्रिया नहीं अपनाता. चूंकि मैंने ज्यादातर उसी को निर्देशित किया है जिसे खुद लिखा है, इसलिए मेरी स्क्रिप्ट मेरे द्वारा खुद मेरे ही लिए लिखे गए नोट की तरह हैं."


फिल्म कम्पैनियन की एडिटर, संस्थापक और फिल्म समीक्षक अनुपमा चोपड़ा ने कहा, "फिल्म स्क्रिप्ट हमें मनोरंजित और शिक्षित करती है. फरवरी में हम फिल्मकार (इम्तियाज) के काम का जश्न मना रहे हैं, जिन्होंने आधुनिक प्यार को 'तामाशा', 'जब वी मेट', 'रॉकस्टार' और 'हाईवे' जैसे फिल्मों के माध्यम से एक नया आकार दिया."