'लैला मजनू' पर फिल्म के बारे में नहीं सोचा था : इम्तियाज अली
इम्तियाज ने बताया, "जब मैंने 'लैला मजनू' की कहानी लिखनी शुरू की थी, तो इस पर फिल्म बनाने का मेरा इरादा नहीं था.'लैला मजनू ' से मेरा पहला परिचय तब हुआ, जब मुझे लोक कथा संग्रह की कहानियों को पढ़ना पड़ा और 'लैला मजनू' उनमें से एक था.''
मुंबई: फिल्म 'लैला मजनू' की कहानी को अपने भाई साजिद अली के साथ मिलकर लिखने वाले फिल्मकार इम्तियाज अली का कहना है कि शुरू में उनका इरादा इस पर फिल्म बनाने का नहीं था. इम्तियाज ने बताया, "जब मैंने 'लैला मजनू' की कहानी लिखनी शुरू की थी, तो इस पर फिल्म बनाने का मेरा इरादा नहीं था.'लैला मजनू ' से मेरा पहला परिचय तब हुआ, जब मुझे लोक कथा संग्रह की कहानियों को पढ़ना पड़ा और 'लैला मजनू' उनमें से एक था.मेरे मन में यह विचार आया कि मजनू का क्या हुआ और जब लैला सारी रुकावटों का सामना करते हुए उसके पास आई तो उसने उसे स्वीकार करने से मना क्यों कर दिया?"
फिल्मकार ने कहा, "मैं यह पता लगाने की कोशिश कर रहा था कि मजनू का क्या हुआ.उसने ऐसा क्यों किया.बतौर लेखक जब तक मैंने इसे कागज पर उतार नहीं लिया तब तक मेरे मन में इस कहानी की तस्वीर साफ नहीं हो पाई, मैंने इसे लिखना शुरू कर दिया."
इस बीच इम्तियाज को अहसास हुआ कि उन्होंने कई सारे दृश्य लिख डाले हैं.जब उनके पास फिल्म निर्माता प्रीति अली आईं तो उन्होंने कहानी को उनके साथ साझा किया और भाई साजिद अली को इसका निर्देशन करने के लिए उपयुक्त पाया.
इम्तियाज द्वारा प्रस्तुत इस फिल्म में दो नए चेहरे तृप्ति डिमरी और अविनाश तिवारी हैं.फिल्म की सह-निर्माता एकता कपूर, शोभा कपूर और प्रीति हैं.
'लैला मजनू' सात सिंतबर को रिलीज होगी.