कोलकाता: वास्तविक मुद्दों पर फिल्म बनाने के लिए मशहूर निर्देशक मधुर भंडारकार ने कहा कि उनकी अगली फिल्म आपातकाल पर आधारित होगी जो आज की पीढ़ी को 1975 के आपातकाल के बारे में बताएगी.


भंडारकर ने ‘7वें नेशनल साइंस फेस्टिवल एंड कॉम्पटीशन’ से इतर कहा कि ‘इंदू सरकार’ आपातकाल पर आधारित है. इस पर राजनीतिक प्रतिक्रियाओं के लिए फिल्म का ट्रेलर जारी होने तक इंतजार करना होगा.


उन्होंने कहा, ‘‘मैं 42 साल पीछे गया और 41 दिनों में शूटिंग पूरी कर ली गई. फिल्म बताती है कि किस प्रकार से अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता और नागरिकों की आवाज को दबाया गया. आपातकात ऐसा विषय है जिसके बारे में आज की पीढ़ी ज्यादा नहीं जानती.’’


भंडारकर ने बताया, ‘‘हमने 1975 के दिल्ली का माहौल तैयार किया. हमने चांदनी चौक को दोबारा बनाया, हमने रेडियो से ले कर टाइपराइटर और उस दौर के वाहन इतनी सारी चीजें इकट्ठा कीं.’’ उन्होंने बताया कि इंदू सरकार उनकी पहले की फिल्मों से अलग होगी.


बांग्लादेशी फिल्मकार मुस्तफा सरवर फारूकी की फिल्म ‘नो बेड ऑफ रोजेज’ को बैन किए जाने की रिपोर्ट के संबंध में पूछे जाने पर उन्होंने कहा,‘‘ मेरा मानना है कि सेंसर बोर्ड से हरी झंडी मिलने के बाद किसी फिल्म पर प्रतिबंध नहीं लगाया जाना चाहिए.’’ इरफान खान इस फिल्म के सह निर्माता और अभिनेता भी हैं.


यह फिल्म बांग्लादेशी लेखक और फिल्मकार हुमायुं अहमद के जीवन पर आधारित है.