मुंबई: संजय लीला भंसाली की फिल्म ‘पद्मावती’ में मुख्य भूमिका निभा रहे रणवीर सिंह और शाहिद कपूर ने जयपुर के जयगढ़ किले में फिल्म के सेट पर किए गए हमले की आलोचना की है.


फिल्म में अलाउद्दीन खिलजी की भूमिका निभा रहे 31 साल के रणवीर ने कहा कि उनकी मंशा किसी की भावनाओं को ठेस पहुंचाने की नहीं थी.

उन्होंने कहा कि जो हुआ वो बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है. मुझे उम्मीद है कि राजस्थान के लोग हमारी मंशा को समझेंगे और सहानुभूति दिखाते हुए हमारा साथ देंगे. एक टीम की तरह हम पद्मावती को बनाते वक्त राजस्थान के लोगों और राजपूत समुदाय की संवेदना और भावना का ध्यान रख रहे है.

उन्होंने ट्वीट किया, ‘‘संजय सर भारत के सबसे दक्ष और प्रमाणिक फिल्म निर्माताओं में से एक हैं और हम ऐसा कुछ भी नहीं करेंगे जिससे किसी की भावनाएं आहत हों.’’ फिल्म में राजा रतन सिंह का किरदार निभा रहे शाहिद कपूर ने भी भंसाली पर हमले की निंदा करते हुए कहा कि हिंसा ‘‘अस्वीकार्य’’ है.

उन्होंने कहा, ‘‘काफी दुखद है. ये बताने के लिए शब्द बेहद कम हैं कि हिंसा अस्वीकार्य है. इस घटना से मुझे सदमा पहुंचा.’’ वहीं इस घटना पर फिल्म ‘पद्मावती’ में रानी पद्मावती का किरदार निभा रहीं दीपिका पादुकोण ने अपना बयान दिया है. दीपिका ने लगातार तीन ट्वीट कर के इस घटना पर दुख जताया है. अपने पहले ट्वीट में दीपिका ने कहा कि कल की हुई घटना से बेहद दुखी हूं.


अपने दूसरे ट्वीट में दीपिका ने लोगों को आश्वस्त किया है कि इतिहास के साथ किसी भी तरह की छेड़छाड़ नहीं की गई है. दीपिका ने कहा कि पद्मावती की भूमिका निभाने के तौर मैं आपलोगों को आश्वस्त कर सकती हूं कि इतिहास से किसी भी तरह की छेड़छाड़ नहीं की की गई है.


अपने आखिरी ट्वीट में दीपिका ने कहा कि हमारा उद्देश्य केवल यह है कि हम एक बहादुर और ताकतवर महिला से उसके असली रूप में दुनिया को रूबरू करा सकें.



पटकथा लेखक सलीम खान ने भी भंसाली पर हुए हमले को शर्म का विषय बताया है. बॉलीवुड को ‘‘शोले’’ जैसी फिल्म की कहानी देने वाले 81 साल के सलीम खान ने कहा कि उनके कई राजपूत दोस्त हैं लेकिन कभी किसी के साथ ऐसा नहीं लगा.



उन्होंने कहा, ‘‘मैं राजपूत लड़कों के साथ बड़ा हुआ हूं और उनके परिवार के करीब रहा हूं. ये लोग आनुवांशिक रूप से बहादुर, दिलदार और वफादार होते हैं. संजय लीला भंसाली पर हमला करने वाले खुद को राजपूत बता रहे थे. ये इस भद्र समुदाय के लिए शर्म की बात है.’’

क्यों हो रहा है विरोध?



हंगामा करने वाले संगठन करणी सेना का दावा है कि संजय लीला भंसाली ने अपनी फिल्म पद्मावती में अलाउद्दीन खिलजी और रानी पद्मावती के बीच एक बेहद आपत्तिजनक सीन डाला है. इस सीन में अलाउद्दीन खिलजी एक सपना देखता है जिसमें वो रानी पद्मावती के साथ है. करणी सेना का दावा है कि वास्तव में खिलजी और पद्मावती ने कभी एक दूसरे को आमने सामने देखा तक नहीं और इतिहास की किसी किताब में भी इस तरह के किसी सपने का कोई जिक्र नहीं है. हालांकि इतिहासकार इरफान हबीब के मुताबिक पद्मावती का किरदार ही काल्पनिक है.


करणी सेना खुद को राजपूतों के हितों का रक्षक बताती है और राजस्थान में काम करती है. करणी सेना का दावा है कि रानी पद्मावती राजपूत थीं और उनकी छवि फिल्म में गलत तरीके से दिखाई गई इसलिए उसने प्रदर्शन किया.