मुंबई: अभिनेता विनय पाठक का कहना है कि उनकी फिल्म 'छप्पड़ फाड़ के' एक मजेदार और संवेदनशील कहानी पर आधारित फिल्म है. यह फिल्म हमारी रोजमर्रा की जिंदगी पर छाए उपभोक्तावाद और दोमुंहेपन की कहानी कहती है.


सारेगामा इंडिया के प्रोडक्शन हाउस यूडली फिल्म्स ने पुणे में फिल्म की शूटिग पूरी कर ली है. समीर जोशी निर्देशित इस फिल्म में आयशा रजा भी मुख्य किरदार में नजर आएंगी.


विनय ने बताया कि आज के दौर में उपभोक्तावादी दुनिया में किस तरह से लोग अपनी नैतिकता का प्रयोग करते हैं, फिल्म उसी पर आधारित है. इसकी कहानी मजेदार और संवेदना से भरपूर है.


यह कहानी गुपचुप परिवार के इर्दगिर्द घुमती है, जिसमें यह दिखाया गया है कि किस तरह से उपभोक्तावाद और पाखंड हमें हर दिन उलझाकर रखता है.


फिल्म में विनय, शरद गुपचुप और आयशा रजा वैशाली गुपचुप के किरदार में नजर आएंगी. सिद्धार्थ मेनन और शीतल ठाकुर इस परिवार के बच्चों के रूप में दर्शकों से रूबरू होंगे.


सारेगामा इंडिया, यूडली फिल्म्स, टेलिविजन एंड फिल्म्स के उपाध्यक्ष और निर्माता सिद्धार्थ कुमार के अनुसार, हमारा उद्देश्य एक ऐसी फिल्म बनाना था जो दर्शकों का भरपूर मनोरंजन करे और उसकी कहानी भी आज के दौर में प्रासंगिक लगे.