एक्टर दिब्येंदु भट्टाचार्य की मां ने कोलकाता में तोड़ा दम, तुर्की में शूटिंग के चलते अंतिम संस्कार में नहीं हो पाये शामिल
अभिनेता दिब्येंदु भट्टाचार्य की मां गायत्री भट्टाचार्य ने हाल ही में कोलकाता में हार्ट अटैक की वजह दे दम तोड़ दिया. अटैक आने के बाद उनकी 72 साल की मां को किसी अस्पताल में दाखिला नहीं मिला और वो जान गंवा बैठीं.
मुम्बई: 'ब्लैक फ्राइडे', 'देव डी' 'बीए पास', 'लाल बाजार' जैसी फिल्मों व वेब शो 'क्रिमिनल जस्टिस सिस्टम 2' में काम कर अपनी अलग पहचान बनाने वाले अभिनेता दिब्येंदु भट्टाचार्य की मां गायत्री भट्टाचार्य ने हाल ही में कोलकाता में हार्ट अटैक की वजह दे दम तोड़ दिया. अटैक आने के बाद उनकी 72 साल की मां को किसी अस्पताल में दाखिला नहीं मिला और वो जान गंवा बैठीं. उस वक्त दिब्येंदु यूरोप के तुर्की शहर में एक फिल्म के लिए शूटिंग में बिजी थी. ऐसे में उन्हें कोलकाता लौटने और अपनी मां के अंतिम संस्कार में शामिल होने का मौका नहीं मिला.
तुर्की में मां की मौत की खबर सुनकर दिब्येंदु स्तब्ध थे. मगर फिल्म के कुछ अहम सीन्स फिल्माए जाने और शूटिंग रद्द होने की सूरत में बाद में फिर से शूटिंग के लिए अनुमति मिलने में आनेवाली दिक्कतों के चलते दिब्येंदु ने बिना ब्रेक लिये शूटिंग जारी रखी. फ्लाइट के आवागमन के बंद होने से भी दिब्येंदु के लिए कोलकाता लौटना मुमकिन नहीं था. ऐसे में भारी मन ने वे वहां पर अपनी अनटाइटल्ड फिल्म की शूटिंग करते रहे.
दिब्येंदु ने एबीपी न्यूज़ से बताया, "मैं सेट पर कभी अपना फोन लेकर नहीं जाता. जब मैं अपने होटल रूम में लौटा तो मैंने अपने फोन पर देखा कि मेरी बहन के मैसेजेज आए हुए हैं. ऐसे में मैंने उसे फौरन कॉल किया. उसने बताया कि कोलकाता में बेड्स उपलब्ध नहीं हैं और वहां किसी भी मरीज को अस्पताल में भर्ती करने से पहले उनकी कोविड की नेगेटिव रिपोर्ट्स मांगी जा रही है. बहन ने कहा कि उन्हें इमरजेंसी के इस हालात में इस तरह की मांग उचित नहीं लगी. बहन ने कहा कि कोलकाता में उसके दोस्तों ने भी मेरी मां को अस्पताल में भर्ती कराने की कोशिशों में मदद की. लेकिन इससे पहले की वो अस्पताल में भर्ती हो पातीं, उनका निधन हो गया."
मां की मौत की खबर मिलने के बाद दिब्येंदु शिद्दत से कोलकाता लौटना चाहते थे मगर उन्हें इस बात का एहसास था कि कोरोना काल में फ्लाइट्स पर पाबंदी और अनिवार्य रूप से क्वारंटीन होने की शर्तों के चलते कोलकाता में अपने घर लौटने में उन्हें 15 दिनों से भी ज्यादा दिनों का वक्त लग सकता है.
दिब्येंदु कहते हैं, "उस दिन मुझे रात में फिल्म की शूटिंग करनी थी. ऐसे में दिनभर मैं अपने कमरे में रोता रहा. ये सच है कि कोई कितना भी बड़ा क्यों न हो जाए मगर अपने माता-पिता को खोने को लेकर वो कभी भी मानसिक रूप से तैयार नहीं होता है."
वे आगे कहते हैं, "उस रात को मैंने एक्शन सीक्वेंस के अलावा कॉमिक सीन्स भी किये. उस वक्त सही मायनों में मुझे 'द शो मस्ट गो ऑन' का मतलब समझ में आया." उल्लेखनीय है दिब्येंदु भट्टाचार्य की मां का निधन 16 मई को हुआ था.