Madhubala in Mughal-E-Azam: बॉलीवुड की टाइमलेस ब्यूटी मधुबाला (Madhubala) की आज बर्थ एनिवर्सरी है. उनका असली नाम मुमताज बेगम दहलवी था. फिल्मों में उनकी जर्नी छोटी लेकिन यादगार रही. अपनी बेहतरीन अदायगी और खूबसूरती की वजह से मधुबाला को आज भी याद किया जाता है. यूं तो मधुबाला ने अपने छोटे से फिल्मी करियर में कई बेहतरीन फिल्मों में काम किया लेकिन मुगल-ए-आजम (Mughal-E-Azam) एक ऐसी क्लासिक फिल्म थी जो कि सिनेमा के इतिहास में दर्ज हो गई.
इस फिल्म में मधुबाला ने ट्रेजेडी किंग के नाम से मशहूर दिलीप कुमार (Dilip Kumar) के साथ काम किया था. दोनों की स्क्रीन पर जोड़ी तो शानदार थी ही लेकिन रियल लाइफ में भी ये दोनों कभी बेहद करीब हुआ करते थे. दिलचस्प बात ये है कि फिल्म मुगल-ए-आजम में दिलीप कुमार ने जहां शहजादे सलीम की भूमिका निभाई थी. वहीं, मधुबाला अनारकली की भूमिका में थीं. फिल्म को बनने में 16 साल का लंबा वक्त लग गया था और फिल्म पूरी होते-होते दोनों का रिश्ता टूट भी चुका था.
बहरहाल, फिल्म के मशहूर फेदर वाले सीन पर दिलीप कुमार ने अपनी बायोग्राफी 'द सब्सटेंस एंड द शैडो' में कहा था, आधी फिल्म की शूटिंग में तो हम एक-दूसरे से बात तक नहीं करते थे. मशहूर सीन जिसमें एक पंख हमारे होठों के बीच में आ जाता है, उसे शूट करते वक्त तक तो हम एक-दूसरे को देखकर हाय-हैलो तक नहीं करते थे.
मधुबाला की बहन मधुर ब्रिज भूषण ने भी इस सीन को लेकर एक इंटरव्यू में कुछ बातें कहीं थीं. Etimes से बातचीत में उन्होंने कहा था, वो सीन इतने पैशन से इसलिए शूट हो पाया क्योंकि दोनों एक-दूसरे से बेपनाह मोहब्बत करते थे. अगर प्यार दिल में है तो वो आंखों से झलकता है. प्यार कहां से शुरू होता है? आंखों से ही न? आपको बता दें कि 23 फरवरी, 1969 को मधुबाला का लंबी बीमारी के बाद निधन हो गया था.
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